एक कलाकार जिसने आते ही फ़िल्मी जगत में हलचल मचा दी वो हैं “दिलीप कुमार” बॉलीवुड ऐसा नहीं था जैसा आज आप देख रहे हैं, इसको इस मुकाम तक पहुंचाने के लिए बहुत लोगों का अदद प्रयास रहा है। 1913-14 से शुरू...
अभिभावकों को अपने बच्चों के मनोविज्ञान को समझना चाहिए। उन्हें चाहिए कि वे बच्चों की निजी जिंदगी में रूचि लें। उनके दोस्ताना व्यवहार रखें व उनका विश्वास हासिल करें। इस तरह उनका स्नेहपूर्ण...
यादें प्राण कृष्ण सिकंद, खलनायक और चरित्र अभिनेता परदे और परदे के बहार सिर्फ प्राण नाम से ही मशहूर रहे हैं। एक ऐसे अभिनेता हैं जिनके चेहरे पर हमेशा भावनाओं का तूफ़ान और आँखों में किरदार का...
जिंदगी कैसी है पहेली हाय, कभी ये हंसाए कभी ये रुलाए… मन्ना डे…एक ऐसा गायक जिसके गीतों ने कम से कम दो पीढिय़ों को अपना दीवाना बनाया और आज भी जब उनके गीत कानों में सुनाई पड़ते हैं तो लगता है कि...
बच्चों की परवरिश में माँ और पापा दोनों की अपनी खास जगह होती है। बदलते वक्त के साथ-साथ आज के दौर के माता-पिता के व्यवहार में काफी बदलाव आये हैं, लेकिन व्यस्तता भरे माहौल में आज हर परिवार...
“यादें” “दादा मुनि” यानि “अशोक कुमार”। अभिनय के साथ-साथ हिन्दी फ़िल्मों के प्रसिद्ध निर्माता-निर्देशक रहे चुके हिन्दी सिनेमा के युगपुरुष कुमुद कुमार गांगुली उर्फ अशोक कुमार।...
प्राय: छोटे बच्चों के गुस्सा करने पर माता-पिता स्वयं तैश में आ जाते हैं। वे समझते हैं कि उनके डांटने या चीखने-चिल्लाने से बच्चा शांत हो जाएगा। किंतु ऐसा होता नहीं है। जब भी बच्चे को गुस्सा आए...
