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शिमला के दोर्जे द्रक मठ में डॉ. दिनेश शाहरा की लिखित पुस्तक दलाई लामा के ख़ुशी के सीक्रेट का विमोचन

शिमला: परम पावन दलाई लामा के 90वें जन्म वर्ष के अवसर पर आयोजित एक कार्यक्रम में शिमला के दोर्जे द्रक मठ शिमला में डॉ. दिनेश शाहरा द्वारा लिखित पुस्तक दलाई लामा के ख़ुशी के सीक्रेट का विमोचन किया गया।एक गहन आध्यात्मिक और प्रेरणादायक पहल के रूप में विख्यात उद्योगपति,लेखक और परोपकारी डॉ.दिनेश शाहरा ने शिमला स्थित पवित्र दोर्जे द्रक मठ का दौरा किया।यह मठ वर्ष 1992 में उनके परम पावन दलाई लामा द्वारा उद्घाटित किया गया था।इस अवसर पर कई प्रतिष्ठित व्यक्तित्व उपस्थित रहे चेयरमैन यारफेल लामा,वाइस चेयरमैन आचार्य मिफ़ाम,शिमला तिब्बती समुदाय के मुख्य प्रतिनिधि श्री लख्पा त्सेरिंग और प्रिंसिपल आचार्य कुंगा चोनज़िन।डॉ.शाहरा ने मठ की शैक्षणिक और सांस्कृतिक पहलों के प्रति अपना सहयोग और शुभेच्छा प्रकट की।उन्होंने भिक्षुओं और विद्यार्थियों के साथ प्रेमपूर्वक तैयार किया गया भोजन साझा किया।यह मिलन सौहार्द,मुस्कान और हैप्पीनेस सॉन्ग के उल्लास से भरपूर रहा जो एकता,आनंद और मानवीय बंधुत्व की भावना का प्रतीक था।कार्यक्रम के दौरान उनके परम पावन दलाई लामा के 90वें जन्म वर्ष को भी श्रद्धांजलि दी गई।इस अवसर पर डॉ.शाहरा ने अपनी प्रसिद्ध पुस्तक दलाई लामा के ख़ुशी के सीक्रेट तथा उनके जीवन और संदेश पर आधारित एक विशेष कॉफी टेबल संस्करण भेंट किया जो करुणा और शांति के उनके उपदेशों के प्रति गहरी श्रद्धा का प्रतीक था।

डॉ. शाहरा ने कहा  क्रतज्ञता ही वह सेतु है जो आनंद और समरसता को जोड़ता है। जब हम प्रेम से देते हैं तभी हम आत्मा में बढ़ते हैं।चेयरमैन यारफेल लामा ने कहा  डॉ. शाहरा का यह दौरा और उनका संदेश करुणा व समरसता की उस शाश्वत भावना को दर्शाता है जो हमारे भीतर और हमारे चारों ओर शांति को पोषित करती है।कार्यक्रम का समापन वैश्विक आनंद और सामंजस्य के लिए सामूहिक प्रार्थनाओं के साथ हुआ जो डॉ.शाहरा के जीवन सिद्धांत देने के लिए जियो का सुंदर प्रतिध्वनि था।

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