हर पंचायत में स्थापित होगी डेयरी कोआपरेटिव सोसाइटी – उपायुक्त 

शिमला: उपायुक्त शिमला अनुपम कश्यप ने बताया कि जिला शिमला में पंचायत स्तर पर डेयरी कोआपरेटिव सोसाइटी का गठन किया जाएगा। प्रथम चरण में 57 ग्राम पंचायतों का चयन कर लिया गया है। इनमें से 8 ग्राम पंचायतों में डेयरी कोऑपरेटिव सोसाइटी का गठन पूरा कर लिया गया है।

उपायुक्त आज यहां आयोजित जिला स्तरीय डेयरी विकास समिति की बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार का लक्ष्य पशुपालकों को सहायता प्रदान करके ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने की दिशा में पंचायत स्तर पर डेयरी कोआपरेटिव सोसाइटी का गठन करने का है। हर सोसाइटी में न्यूनतम 11 सदस्य होना अनिवार्य है। इसके अलावा मिल्क फेडरेशन की ओर से बनाए गए सभी नियमों और फिज़िब्ल सर्टिफिकेट का होना इसमें आवश्यक है।

उपायुक्त ने चयनित 57 पंचायतों के खंड विकास अधिकारियों को डेयरी कोआपरेटिव सोसाइटी के पंजीकरण की प्रक्रिया 10 सितंबर से पहले पूरी करने के निर्देश दिए। जिला की जिन 08 पंचायतों में पंजीकरण प्रक्रिया पूरी कर ली है, उन्हें आगामी स्तर की करवाई करने के निर्देश संबंधित विभागों को दिए गए हैं। हर पंचायत में केवल एक कोऑपरेटिव सोसाइटी का गठन होगा।

बैठक में उप निदेशक पशुपालन विभाग डा नीरज मोहन सहित अन्य गणमान्य भी मौजूद रहे।

जिला की 57 पंचायतों में बनेगी डेयरी कोआपरेटिव सोसाइटी
पशुपालन विभाग ने जिला की कुल 412 पंचायतों में आंतरिक सर्वेक्षण किया है जिसके आधार पर 57 ग्राम पंचायतों को चयन किया गया है जिनमें रोजाना 200 लीटर से अधिक दूध का उत्पादन हो रहा है। इनमें ग्राम पंचायत बम्टा,केदी, चंडलोग, दैयादोची, पुजारली, बोहर, न्योल टिक्करी, फांचा, झिकनीपुल, खुंडनेवाल, दियोट, मलेंदी, गोपालपुर, शाहधार, पारसा, अढ़ाल, समोलीपुल, बारासली, लोअर कोटी, सीमा रंटाडी, झगोटी, भापफार, आंद्रा, डिसवानी, ढाकगांव, मसली, नकराडी, घारग, शिल्ली, खशधार, खरशाली, खाबल, बसोरी, टांगो जंगलीक, पुजारली-4, करासा, कुटाडी, हरचली, गौना, दलगांव, जैस, भराड़ा, देवरीघाट, चमियाणा, डुम्मी, भौंट, मेहली, बढाई, पुजारली, रझाणा, मल्याणा, कोटी, सतलाई, दरभोग, शिल्ली बाघी और मझठाई शामिल है।

उपायुक्त की अध्यक्षता में जिला स्तरीय डेयरी विकास समिति करेगी कार्य
इस योजना के क्रियान्वयन के लिए उपायुक्त की अध्यक्षता की कमेटी कार्य करेगी। उपायुक्त जिला स्तरीय योजना का प्रारूप बनाएंगे जिसमें पंचायतों का चयन करना, पंचायती राज विभाग व अन्य विभागों की जिम्मेदारी सुनिश्चित करना, जिला स्तरीय डेयरी विकास समिति का गठन करना शामिल है। इसके साथ ही बजट का प्रावधान करवाना तथा मासिक प्रगति रिपोर्ट तैयार करनी होगी। वहीं मिल्क फेड, डीआरडीए, पशुपालन विभाग, ग्राम पंचायत एवं किसानों की भूमिका भी तय की गई है। 

8 पंचायतो में गठित हो चुकी है डेयरी को आपरेटिव सोसाईटी
जिला की 8 पंचायतों में डेयरी कोआपरेटिव सोसाईटी का गठन किया जा चुका है। इनमें रोहड़ू विकास खंड के तहत द अमृत पान मिल्क कोआपरेटिव लिमिटेड कमोली, द जागा माता बाशला मिल्क कोआपरेटिव लिमिटेड अढ़ाल, द गोकुल मिल्क कोआपरेटिव लिमिटेड समोली, द कृष्णा वूमेन मिल्क कोआपरेटिव लिमिटेड कन्योरा, द जिया-पान मिल्क कोआपरेटिव लिमिटेड लोअर कोटी तथा चिढ़गांव विकास खंड में द आंध्रा मिल्क कोआपरेटिव लिमिटेड अढ़ाल व द डाकगांव मिल्क कोआपरेटिव लिमिटेड और रामपुर विकास खंड के तहत द लहारू वीर मिल्क प्रोडूयसर कोआपरेटिव सोसाईटी लिमिटेड गान्वी शामिल हैं।

 

सम्बंधित समाचार

Comments are closed