आपदा प्रभावित सराज विकास खंड में व्यय होंगे 152 करोड़ रुपए
मण्डी: आपदा प्रभावित क्षेत्रों का व्यापक दौरा करने के उपरांत मंडी पहुंचे उपायुक्त अपूर्व देवगन ने आज राहत एवं पुनर्वास कार्यों की समीक्षा के लिए आयोजित एक बैठक की अध्यक्षता की। इसमें प्रभावित क्षेत्रों में आवश्यक सेवाएं बहाल करने व ग्रामीण ढांचे के पुनर्निर्माण कार्यों पर विशेष ध्यान केंद्रित करने पर बल दिया गया।
उपायुक्त ने कहा कि प्रदेश सरकार के निर्देशों पर आपदा प्रभावित क्षेत्रों में राहत एवं पुनर्वास के लिए सभी संबंधित विभागों के समन्वय से निरंतर कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि प्रभावित गांवों तक सम्पर्क मार्ग स्थापित करने को सर्वोच्च प्राथमिकता प्रदान की जा रही है। मुख्य सड़कों को बहाल करने के साथ ही ग्रामीण क्षेत्रों में क्षतिग्रस्त रास्तों के पुनर्निर्माण पर भी विशेष ध्यान केंद्रित किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि आपदा प्रभावित क्षेत्रों से मनरेगा के तहत विभिन्न कार्यों के लिए अतिरिक्त सेल्फ मांगे गए थे।
बैठक में जिला में क्षतिग्रस्त ग्रामीण ढांचे की मरम्मत के लिए मनरेगा के तहत आठ विकास खंडों के लिए लगभग 298 करोड़ रुपए के सेल्फ को स्वीकृति प्रदान की गई। इनमें से लगभग 152 करोड़ रुपए के सेल्फ सराज विकास खंड के लिए मंजूर किए गए हैं। इसके तहत रास्तों को बहाल करने के साथ ही छोटे पैदल पुल, सुरक्षा दिवार, बाढ़ प्रबंधन इत्यादि जैसे कार्य किए जाएंगे।
उन्होंने बताया कि आपदा से सर्वाधिक प्रभावित सराज क्षेत्र में ग्रामीण रास्तों को पुनः बहाल करने का कार्य आरम्भ कर दिया गया है। आज शुक्रवार को ग्राम पंचायत गुडाह के निहारी गांव के लिए रास्ते का निर्माण शुरू किया गया है। इसके अतिरिक्त ग्राम पंचायत खबलेच में भी रास्ते का निर्माण शुरू हो गया है। उपायुक्त ने दूरस्थ क्षेत्रों में बिजली की आपूर्ति बहाल करने के भी निर्देश दिए। साथ ही इसके लिए वैकल्पिक उपाय सुनिश्चित करने को भी कहा। इसके अतिरिक्त राहत एवं पुनर्वास के अन्य कार्यों की भी वृहद समीक्षा की गई।
बैठक में अतिरिक्त जिला दंडाधिकारी डॉ. मदन कुमार, ऑफिसर ऑन स्पेशल ड्यूटी व हिमफैड के प्रबंध निदेशक जगन ठाकुर, जिला विकास अधिकारी जी.सी. पाठक सहित खंड विकास अधिकारी उपस्थित थे, जबकि इंसीडेंट कमांडर सुरेंद्र मोहन ने वर्चुअल माध्यम से इसमें भाग लिया।–