20 अप्रैल को आयुष्मान भारत प्रखंड स्तरीय स्वास्थ्य मेलों में 4 लाख से अधिक लोगों ने लिया हिस्सा, तीसरे दिन पूरे देश के 484 प्रखंडों में स्वास्थ्य मेले आयोजित

71,000 से अधिक आभा स्वास्थ्य आईडी बनाने और 17,000 पीएमजेएवाई गोल्डन कार्ड जारी किए जाने के साथ 36,000 टेली-परामर्श किए गए

नई दिल्ली: राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की सहभागिता में स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय 16 अप्रैल से 22 अप्रैल, 2022 तक आजादी का अमृत महोत्सव के तहत आयुष्मान भारत स्वास्थ्य और कल्याण केंद्रों (एबी-एचडब्ल्यूसी) की चौथी वर्षगांठ मना रहा है। इस उत्सव को पूरे देश में बड़े उत्साह और जोश के साथ मनाया जा रहा है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री, राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों के स्वास्थ्य मंत्री, सांसद, विधायक, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी, राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों के प्रमुख स्वास्थ्य सचिव/स्वास्थ्य सचिव राज्य स्वास्थ्य विभाग के वरिष्ठ अधिकारी, जनप्रतिनिधि और स्थानीय गणमान्य व्यक्ति भी एबी-एचडब्ल्यूसी दौरा का कर रहे हैं। इसके साथ ही जनता के बीच सस्ती और सुलभ स्वास्थ्य देखभाल प्रदान करने में एबी-एचडब्ल्यूसी के महत्व के बारे में जागरूकता भी उत्पन्न कर रहे हैं।

18-22 अप्रैल, 2022 तक पूरे देश के राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों के हर एक जिले के कम से कम एक प्रखंड में स्थित एक लाख से अधिक एबी-एचब्ल्यूसी में प्रखंड स्तरीय स्वास्थ्य मेलों का आयोजन किया जा रहा है। हर एक प्रखंड स्तरीय स्वास्थ्य मेला एक दिन के लिए होगा और राज्य/संघ राज्य क्षेत्र के प्रत्येक ब्लॉक को कवर किया जाएगा।

स्वास्थ्य मेले के तीसरे दिन पूरे देश में 4 लाख से अधिक लोगों ने हिस्सा लिया। लगभग 484 प्रखंडों ने स्वास्थ्य मेलों का आयोजन किया। इसके अलावा 71,000 से अधिक आभा स्वास्थ्य पहचान पत्र (आईडी) बनाए गए और 21,000 पीएमजेएवाई गोल्डन कार्ड जारी किए गए। साथ ही उच्च रक्तचाप और मधुमेह आदि के लिए हजारों लोगों की जांच की जा रही हैं।

16 अप्रैल, 2022 को आयुष्मान भारत – स्वास्थ्य और कल्याण केंद्रों (एबी-एचडब्ल्यूसी) में एक दिन में ई-संजीवनी प्लेटफॉर्म के जरिए रिकॉर्ड 3 लाख टेली- परामर्श किए गए। यह एबी-एचडब्ल्यूसी में एक दिन में अब तक किए गए टेली-परामर्श की सबसे अधिक संख्या है, जो हर दिन 1.8 लाख टेली-परामर्श के अपने पहले के रिकॉर्ड को पार कर गया है। वहीं, 20 अप्रैल, 2022 को पूरे देश में 36,000 से अधिक टेली-परामर्श किए गए।

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