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धर्मशाला: विधानसभा में संशोधित कानून पारित; बिना पंजीकरण होम स्टे चलाने पर होगा एक लाख जुर्माना

धर्मशाला: प्रदेश विधानसभा ने पर्यटन विकास एवं पंजीकरण अधिनियम में संशोधन पारित कर दिया है  हिमाचल में पंजीकरण के बगैर होमस्टे अथवा अन्य पर्यटन इकाइयों को चलाने वालों पर सरकार शिकंजा कसेगी। पंजीकरण के बगैर इन इकाईयों को चलाने वालों पर एक लाख रुपए जुर्माना होगा। सरकार ने पर्यटन विकास एवं पंजीकरण कानून में संशोधन कर जुर्माने का प्रावधान कर दिया है। मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने विधेयक को पारण हेतु सदन में प्रस्तुत किया था। संशोधन विधेयक को वीरवार को विधानसभा में ध्वनिमत से पारित किया गया। संशोधन विधेयक के पारण के बाद अब सरकार इस बारे नियम बनाकर कानून को अधिसूचित करेगी। 

बता दें कि होम स्टे प्रदेश सरकार और बेड एंड बेक्रफास्ट केंद्र सरकार के पर्यटन मंत्रालय की योजना के तहत खोले जाते हैं। इन दोनों योजनाओं के तहत पर्यटकों को ठहराने पर होटलों की तरह किसी तरह का टैक्स नहीं देना पड़ता है। पर्यटन विकास एवं पंजीकरण कानून 2002 के तहत गैर पंजीकरण के चल रही इकाइयों के संचालकों को छह महीने की सजा और 10 हजार जुर्माने का प्रावधान था। सरकार ने संशोधन विधेयक में छह महीने की सजा को खत्म कर जुर्माने की राशि 10 हजार से बढ़ाकर एक लाख करने का प्रावधान किया है। पंजीकरण के बाद लाइसेंस दो साल तक वैध माना जाएगा।

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