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सीएम, मंत्री, सीएस, डीसी सब मिलकर पहले तय कर लें कि पंचायत चुनाव कब करवाने : जयराम ठाकुर

उपायुक्तों द्वारा लिखे गए पत्र ने आपदा राहत को लेकर खोला सीएम सुक्खू का चिट्ठा

चुनाव टालने की चिट्ठी से साफ है कि आपदा के बाद प्रदेश के हालात जैसे हैं वैसे रहेंगे

शिमला :  शिमला से जारी बयान में नेता प्रतिपक्ष से जयराम ठाकुर ने कहा कि जिस तरीके के विरोधाभासी बयान सरकार, अधिकारी और जिम्मेदार लोगों द्वारा दिए जा रहे हैं उससे यह साफ है कि यह सरकार कितनी कंफ्यूज है। अगर सरकार को चुनाव समय पर ही करने हैं तो वह चिट्ठी निकालने की जरूरत क्या है कि जब तक हालात सही नहीं होंगे तब तक चुनाव नहीं हो पाएंगे। चुनाव टालने के लिए सरकार द्वारा बाकायदा जिला उपायुक्तों से कहकर ऐसी चिट्ठी लिखवाई गई, जिसे आधार बनाकर सरकार चुनाव टाल सके। लेकिन मंदिरों से पैसा वसूलना, टॉयलेट टैक्स लगाने जैसे फैसलों की तरह इस बार भी सरकार की चिट्ठी लीक हो गई। इसके बाद सरकार द्वारा इस तरीके की बचाव की मुद्रा अपनाई जा रही है और लोगों को बरगलाया जा रहा है। यह ऐसी सरकार है जहां जिला उपायुक्त कुछ कह रहे हैं, मुख्य सचिव कुछ कह रहे हैं, मंत्री और मुख्यमंत्री कुछ कह रहे हैं। जिस संस्थान पर चुनाव करवाने की जिम्मेदारी है वह संस्थान कुछ कह रहा है। ऐसी  असमंजस  की स्थिति हर लिहाज से प्रदेश के लिए नुकसानदायक है।  इस हिसाब से लगता है कि सरकार झूठ के सहारे अपनी नैया पार करना चाहती है।

जयराम ठाकुर ने कहा कि जिला उपायुक्तों की जो चिट्टियां सामने आई हैं उससे सरकार की वर्तमान नीति और नीयत साफ हो गई है। इस चिट्ठी का लब्बोलुआब यह है कि आपदा के बाद से अब तक लोगों को राहत देने के लिए सरकार ने कोई काम नहीं किया।  एक भी सड़क सरकार द्वारा पूर्णतया नहीं खोली जा सकी है। किसी भी प्रकार का पुनर्वासन कार्य अभी तक नहीं हो पाया है। इंफ्रास्ट्रक्चर को जो नुकसान है उनको बहाल नहीं किया जा सका है। जिस तरीके से सरकार ने चुनाव अनिश्चितकाल के लिए टाल दिए हैं उस सरकार की मंशा भी जाहिर हो गई है कि आगे भी आपदा प्रभावित क्षेत्रों में कोई सुधार होने की गुंजाइश नहीं है। लोग बेघर हैं, सर्दियों का मौसम सिर पर है और सरकार अभी कह रही है कि सुविधाओं में सुधार होने तक इंतजार किया जाए। सरकार में बैठे लोग शायद जानते नहीं बेघर होना कितना दुखदाई होता है। ऐसे में अगले दो महीने जो की भीषण सर्दी के होने वाले हैं उस दौरान भी सरकार ने लोगों को उनके हाल पर छोड़ने का फैसला किया है। इससे दु:खद स्थिति कुछ नहीं हो सकती। केंद्र सरकार द्वारा हिमाचल को आपदा राहत के लिए भरपूर आर्थिक मदद दी जा रही है। लेकिन वह पैसा सरकार आपदा प्रभावितों पर खर्च करने की बजाय अपने मित्र मंडली और सरकार चलाने में खर्च कर रही है। आपदा प्रभावितों का हक उन्हें मिलना चाहिए। सरकार आपदा प्रभावितों से किया अपना वादा पूरा करें।

जयराम ठाकुर ने कहा कि यदि समय चुनाव पर करवाने हैं तो अभी चुनाव में लगभग दो से ढाई महीने का समय है। तो फिर अभी से पत्र निकालकर डिजास्टर मैनेजमेंट एक्ट का हवाला देकर चुनाव टालने की कोशिश क्यों की जा रही है? जिस तरीके से नगर निगम का चुनाव सरकार ने पहले अध्यादेश लाकर और बाद में विधानसभा में बिल लाकर रोकने की कोशिश की है उसे यह साफ है कि सरकार की मंशा पंचायती चुनाव को लेकर क्या है? यह प्रदेश की इकलौती सरकार है जो कहती कुछ है और करती कुछ है। प्रदेशवासियों को गुमराह करने के एक नहीं सैकड़ो उदाहरण हमारे सामने हैं। इनके गुमराह करने का सिलसिला विधानसभा आम चुनाव से शुरू होता है जब कांग्रेस के नेताओं द्वारा खूब धूमधाम से 10 गारंटियां दी जाती हैं। सत्ता में आने के अगले दिन से ही कह दिया जाता है कि हमने तो कुछ कहा ही नहीं। इस सरकार के क्रिया कलाप देख कर यह साफ है कि आगे भी यह इसी तरीके से काम करेगी।  इस सरकार ने प्रदेशवासियों के बीच भरोसे का संकट पैदा किया है। ऐसा पहली बार हो रहा है जब सरकार कुछ कहती है और प्रदेश के लोग उसे पर यकीन नहीं कर पाते क्योंकि सरकार आदतन झूठ बोल रही होती है।

प्रदेश में खड़ा हुआ संवैधानिक संकट, सरकार कर रही लोकतांत्रिक मर्यादाओं का हनन  : रणधीर

शिमला : भाजपा प्रदेश मीडिया प्रभारी एवं विधायक रणधीर शर्मा ने प्रेस वार्ता करते हुए कहा कि भाजपा का आरोप है कि वर्तमान कांग्रेस सरकार पंचायती राज संस्थाओं और शहरी निकाय चुनाव को स्थगित कर लोकतंत्र के मर्यादाओं का हनन करने कर रही है। कांग्रेस द्वारा पहले शहरी निकाय चुनाव को टालने की कोशिश की गई और अब पिछले कल हिमाचल प्रदेश के अनेक जिलों के उपायुक्तों से पत्र मंगवाया कर जिसमें लिखा था कि जिले हालात आपदा के कारण ठीक नहीं है, रोड नेटवर्क सुचारू रूप से चला नहीं है। इसलिए अभी चुनाव कराना व्यावहारिक नहीं है, इसे 4 उपायुक्तों के पत्र सचिव पंचायती राज के पास कांग्रेस द्वारा पहुंचाए गए और उसके तुरंत बाद आनन फानन में डिजास्टर मैनेजमेंट सेल द्वारा आपदा प्रबंधन प्रकोष्ठ के माध्यम से आदेश जारी कर दिए गए कि इस साल हुई भारी बारिश के कारण बहुत ज्यादा नुकसान हुआ है, नुकसान का विवरण देते हुए ये कहा गया कि ऐसे समय में चुनाव तब तक नहीं हो सकते जब तक रोड नेटवर्क पूरी तरह से फिर से सुचारू रूप से न चले।इसकी कॉपी सभी जिलाधीश, राज्य निर्वाचन आयोग और अन्य सभी विभागों के सचिवों और निर्देशकों को भेज दी गई। उसका चौतरफा विरोध होने के बाद भारतीय जनता पार्टी के नेताओं द्वारा उस आदेश का विरोध होने के बाद कल शाम को पंचायती राज मंत्री ने और मुख्यमंत्री ने कहा कि चुनाव समय पर हो रहे है ? कल की जारी अधिसूचना और मुख्यमंत्री मंत्री के बयानों में विरोधाभास जलता है, लगता है कॉन्ट्राडिक्शन नहीं है। असमंजस के वातावरण में मुख्यमंत्री और मंत्री द्वारा समय पर चुनाव कराने का बयान देकर प्रदेश में भ्रम की स्थिति पैदा करने का काम कर रहे है।

उन्होंने कहा कि हम पूछना चाहते है अगर समय पर चुनाव होने हैं, तो पिछले कल जो उपायुक्त से पत्र मंगवाकर आपदा प्रबंधन प्रकोष्ठ के द्वारा आदेश पारित किए गए उनका क्या औचित्य है? उस आदेश की क्या आवश्यकता थी ? हमारा आरोप है कि मुख्यमंत्री मंत्री चाहे कुछ भी कहें परंतु सरकार ये चुनाव टालना चाहते हैं। क्योंकि इससे पहले भी इस सरकार ने शहरी निकायों के चुनाव टालने का प्रयास किया है। नई शहरी इकाइयों का निर्माण भी सरकार ने किया जिनका चुनाव 6 महीने के अंतर्गत होना था, परंतु इस सरकार ने वो चुनाव न करवा के अध्यादेश लाया और एक्ट में बदलाव किया कि जो 6 महीने के अंदर चुनाव कराने आवश्यक थे वो कार्यकाल 6 महीने की बजाय दो साल कर दिया और बाद में विधानसभा के सत्र में अमेंडमेंट बिल लाकर उस ऑर्डिनेंस को पारित कराया गया। यह तय किया गया कि जो प्रदेश में नए शहरी निकाय अर्बन लोकल बॉडी बनी हैं उनके चुनाव दो साल तक नहीं होंगे, जो पुराने नगर शहरी निकाय हैं चाहे नगर पंचायतें नगर परिषद नगर निगम उनके चुनाव का तो प्रोसेस शुरू हो गया था। इलेक्शन कमीशन ने 24 मई, 2025 को पत्र जारी करके इलेक्शन प्रोसेस शुरू कर दिया था 3 शहरी निकायों की वार्ड गठन के ऑब्जेक्शन मांगे लिए थे, सारी डिटेल उन्होंने जारी कर दी थी परंतु बीच में सरकार के शहरी विकास विभाग के सचिव द्वारा पत्र जारी करके कि यह प्रोसेस रोका जाए।

ऑनलाइन छात्रवृत्ति आवेदन पत्र जमा करने की अन्तिम तिथि बढ़ी

शिमला : शिक्षा विभाग के एक प्रवक्ता ने आज यहां बताया कि शैक्षणिक वर्ष 2025-26 के लिए राष्ट्रीय छात्रवृत्ति पोर्टल (एनएसपी) https://scholarships.gov.in  पर आवेदन प्राप्त करने के लिए केंद्रीय क्षेत्र प्री-मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना के अंतर्गत ऑनलाइन छात्रवृत्ति आवेदन पत्र जमा करने की तिथि बढ़ा दी गई हैं।

उन्होंने बताया कि आवेदन प्राप्त करने की अन्तिम तिथि 15 अक्तूबर आइएनओ स्तर पर जांच, एल-1 की अन्तिम तिथि 31 अक्तूबर, तथा डीएनओ व एसएनओ स्तर पर जांच, एल-2 की अन्तिम तिथि 15 नवम्बर निर्धारित की गई है।

सोलन : वाकनाघाट में बनेगी साईबर सिटी: मुख्यमंत्री

शिमला : मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने आज यहां डिजिटल प्रौद्योगिकी एवं गवर्नेंस विभाग की एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि प्रदेश सरकार जिला सोलन के वाकनाघाट में साईबर सिटी स्थापित करने की योजना बना रही है। यह साईबर सीटी 650 बीघा भूमि पर बनेगी, जिसमें डाटा स्टोरेज, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस सहित अन्य सूचना प्रौद्योगिकी आधारित उद्योग कार्यशील होंगे।
मुख्यमंत्री ने विभाग को परियोजना से जुड़े विस्तृत ब्लू प्रिंट शीघ्र तैयार करने के निर्देश दिए। सूचना प्रौद्योगिकी क्षेत्र को प्रमुख क्षेत्र बतातेे हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार हिमाचल में प्रौद्योगिकी को प्रोत्साहित करने और सूचना प्रौद्योगिकी अधोसंरचना क्षेत्र में निवेश को बढ़ावा देने के लिए प्रभावी कदम उठा रही है।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने वाकनाघाट में बन रहे उत्कृष्ट केन्द्र की समीक्षा करते हुए अधिकारियों को इसके निर्माण कार्य में तेजी लाने तथा इसमें एक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की प्रयोगशाला भी स्थापित करने के निर्देश दिए। उन्होंने विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि जिला कांगड़ा के चैतडू़ और जिला शिमला के मैहली में स्थापित किए जा रहे आईटी पार्क का निर्माण दिसम्बर, 2025 तक पूरा किया जाए।
शासन में डिजिटल सेवाओं की महत्ता पर बल देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी विभागों को अपने कार्यों को डिजिटाइज करना चाहिए ताकि उत्कृष्ट एवं नागरिक हितैषी सेवाएं प्रदान की जा सकें। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार अधिक से अधिक सेवाओं को एक क्लिक के माध्यम से लोगों के घर-द्वार पर पहुंचाने की दिशा में कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि सभी विभागों को सूचना प्रौद्योगिकी आधारित सेवाओं को पूर्ण रूप से अपनाना चाहिए और कार्यालयों में पारदर्शिता लाने व कार्य को प्रभावी बनाने के लिए ई-ऑफिस प्रणाली को प्रयोग में लाना चाहिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि अधिकारियों एवं कर्मचारियों को ई-फाईल प्रबंधन व नवीन प्रौद्योगिकी के प्रयोग में निपुण बनाने के लिए कार्यशालाओं का आयोजन किया जाना चाहिए ताकि वह कार्यालय में इसे अधिक से अधिक उपयोग में लाएं। मुख्यमंत्री ने उनके द्वारा की गई घोषणाओं की प्रगति की ऑनलाईन निगरानी के लिए हर विभाग में नोडल अधिकारी तैनात करने के निर्देश दिए। उन्होंने सचिवालय के सभी अधिकारियों को अनिवार्य रूप से बॉयोमेट्रिक्स से अपनी उपस्थिति दर्ज करने के निर्देश दिए।

लाहौल-स्पीति में किसानों को दी जैव नियंत्रण तकनीकों की जानकारी, किसानों को बताया उपयोगी कीटों का महत्व

रासायनिक कीटनाशकों पर निर्भरता कम करने और पर्यावरण अनुकूल जैविक विधियों को अपनाने पर बल

सोलन : डॉ. यशवंत सिंह परमार औद्यानिकी एवं वानिकी विश्वविद्यालय, नौणी के कीट विज्ञान विभाग सोलन द्वारा इस सप्ताह लाहौल एवं स्पीति जिले के सुमनम और मूरिंग गांवों में किसानों के लिए दो प्रशिक्षण शिविर आयोजित किए। ये कार्यक्रम बायोलॉजिकल कंट्रोल पर अखिल भारतीय समन्वित अनुसंधान परियोजना के अंतर्गत आयोजित किए गए, जिनका मुख्य उद्देश्य किसानों में जैव नियंत्रण एजेंटों के माध्यम से फसलों में कीट एवं रोग प्रबंधन के प्रति जागरूकता बढ़ाना था। इन प्रशिक्षण शिविरों में 30 महिला किसान सहित 70 किसानों ने भाग लिया। कार्यक्रम के दौरान किसानों को किसान डायरी तथा जैव नियंत्रण उत्पाद जैसे ट्राइकोडर्मा, नीम आधारित कीटनाशक, पीले स्टिकी ट्रैप, अग्निअस्त्र और घनजीवामृत भी वितरित किए गए।

प्रशिक्षण के दौरान कीट विज्ञान विभाग के प्रोफेसर एवं विभागाध्यक्ष एवं परियोजना के प्रधान अन्वेषक डॉ. सुभाष चंद्र वर्मा ने सेब एवं अन्य फलदार फसलों को प्रभावित करने वाले प्रमुख कीटों के बारे में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने रासायनिक कीटनाशकों पर निर्भरता कम करने और पर्यावरण अनुकूल जैविक विधियों को अपनाने पर जोर दिया।

डॉ. वर्मा ने कहा कि स्पीति क्षेत्र के पर्यावरण को संरक्षित रखने के लिए कृषकों को कृषि रसायनों के उपयोग से बचना चाहिए और जैव नियंत्रण एजेंटों व जैव कीटनाशकों की ओर रुख करना चाहिए, जिससे शुद्ध भोजन के साथ-साथ जैव विविधता संरक्षण को भी बढ़ावा मिलेगा। उन्होंने किसानों को सेब, मटर और गोभी वर्गीय फसलों को नुकसान पहुंचाने वाले कीटों तथा उनके जैव नियंत्रण उपायों की जानकारी दी। साथ ही, उन्होंने किसानों को प्राकृतिक खेती पद्धतियों के बारे में बताया जिन्हें वे आसानी से अपनाकर टिकाऊ खेती की दिशा में आगे बढ़ सकते हैं।

कीट वैज्ञानिक डॉ. विश्व गौरव सिंह चंदेल ने किसानों को उपयोगी कीटों (लाभकारी कीटों) के महत्व के बारे में बताया और समझाया कि उनके संरक्षण से फसलों को प्राकृतिक रूप से कीटों से बचाया जा सकता है।

उपनिदेशक बागवानी लाहौल एवं स्पीति डॉ. मीनाक्षी शर्मा तथा उद्यान विकास अधिकारी गितेश कुमार ने किसानों को राज्य सरकार की विभिन्न योजनाओं के बारे में जानकारी दी और उन्हें आधुनिक एवं सतत कृषि तकनीकों को अपनाने के लिए प्रेरित किया ताकि उनकी उत्पादकता और आय में वृद्धि हो सके।

विभिन्न योजनाओं के तहत सड़क निर्माण के लिए 100 करोड़ स्वीकृत : अनिरुद्ध सिंह

भडेच में नया पंचायत भवन बनाने के लिए 1 करोड़ 14 लाख देने की घोषणा

अनिरुद्ध सिंह ने विभिन्न क्षेत्रों में जन समस्याएं सुनी, समस्याओं का मौके पर निपटारा 

1.27 करोड़ से बनेगा साधु पुल से जुंगा मार्ग, दिवाली के बाद शुरू होगा कार्य 

शिमला : पैंदली में आयोजित जनसभा को संबोधित करते हुए ग्रामीण विकास मंत्री अनिरुद्ध सिंह ने कहा कि क्षेत्र की सभी सड़कों को पक्का करने का लक्ष्य है। उन्होंने कहा कि क्षेत्र की 123 सड़के इस वित्तीय वर्ष में बजट के लिए डाली गई है। सड़कों के लिए जो भूमि दी गई है, उसकी गिफ्ट डीड की प्रक्रिया पूरी करवाने में आमजन सहयोग करें। साधु पुल से जुंगा मार्ग को 01 करोड़ 27 लाख रुपये की लागत से पक्का किया जाएगा। इस सड़क की कुल दूरी 7 किलोमीटर है। दिवाली के बाद सड़क के लिए कार्य शुरू कर दिया जाएगा। मंत्री ने सैंगलनाला से चेबड़ा और सैंगलनाला से पैंदली सड़क के लिए सारी औपचारिकताएं शीघ्र पूरा करने के निर्देश दिए। इसके अतिरिक्त, पैंदली से गेड़वग मार्ग की मरम्मत के लिए 1 लाख रुपए देने की घोषणा। उन्होंने महिला मंडल मेंहशु को भवन मरम्मत के लिए 2.50 लाख रुपए देने की घोषणा की।

भडेच में नया पंचायत भवन के लिए 1 करोड़ 14 लाख रुपये देने की घोषणा

भडेच में आयोजित जनसभा को संबोधित करते अनिरुद्ध सिंह ने भडेच में नए पंचायत घर निर्माण के लिए भूमि चयन करने के निर्देश दिए। इसके साथ ही 1 करोड़ 14 लाख रुपए पंचायत भवन के लिए देने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि नया भवन दो मंजिला होगा जिसमें प्रधान, पंचायत सचिव, ग्राम रोजगार सेवक, तकनीकी सहायक, रसोईघर, दो शौचालय, बैठक कक्ष, परीक्षार्थी केंद्र, पुस्तकालय और एक सभागार की सुविधा होगी। उन्होंने कहा कि पूरे विधानसभा क्षेत्र में ढाई साल के कार्यकाल में एक समान विकास कार्य किए जा रहे है। अभी तक  210 सड़कों के निर्माण की प्रकिया चल रही है। इस वित्तीय वर्ष में करीब 100 करोड़ की सड़कों के निर्माण के लिए विभिन्न योजनाओं के माध्यम से राशि स्वीकृत की जा चुकी है। उन्होंने भडेच पंचायत के तहत विभिन्न सड़कों के मरम्मत के लिए 6 लाख रुपए देने की घोषणा की।

आयुषी ठाकुर को आईआरएस के तौर पर चयनित होने पर बधाई 

कैबिनेट मंत्री ने कहा कि क्षेत्र की बेटी आयुषी ठाकुर को आईआरएस के तौर पर चयनित होकर प्रदेश का नाम देश भर में रोशन किया है।

किम्मू जुब्बड़ से बिनकुटी सड़क का शिलान्यास

ग्राम पंचायत जुन्गा के तहत पजेली गांव में 50 लाख रुपए की लागत से बनने वाले किम्मू-जुब्बड़ से बिनकुटी वाली सड़क का शिलान्यास मंत्री ने किया। यहां पर जनसभा को संबोधित करते हुए उन्होंने जुन्गा देवता मंदिर परिसर में बने हाल के अंदर सीलिंग और फ्लोरिंग लगाने के लिए दो लाख रुपये देने की घोषणा की। परिसर से सड़क तक रास्ता बनाने के लिए भी दो लाख रुपए देने की घोषणा की।

जुंगा में जनसभा संबोधित करते हुए पंचायती राज मंत्री ने कहा कि पंचायत में विभिन्न मद के माध्यम 25 लाख 28 हजार रुपए जारी किए जा चुके है। जुन्गा आईटीआई में नए ट्रेड शुरू करने के लिए पत्राचार किया जा रहा है। यहां पर अस्पताल में एंबुलेंस सुविधा के लिए प्रयास किया जा रहा है। जुन्गा में नए पंचायत घर बनाने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि खंड विकास अधिकारी फील्ड स्टाफ और पंचायत सदस्यों के साथ मिलकर भूमि का चयन करें। सारी औपचारिकताएं पूरी करने के बाद 01 करोड़ 14 लाख रुपये का बजट नए पंचायत भवन के लिए जारी किया जाएगा। विद्याधर के समीप पुलिया निर्माण के लिए 2 लाख रुपए देने की घोषणा की।  उन्होंने कहा कि पडरू लिंक रोड जुंगा से वाया कोहन गांव तक 20 लाख रुपए, ओल्ड कुसुम्पटी से जुंगा रोड 15 लाख रुपए, पुराना रोड से टिक्कर कुहांन रोड के लिए 22 लाख रुपए स्वीकृत हो चुके है। उन्होंने चौरी महिला मंडल भवन के लिए 1.50 लाख रुपए देने की घोषणा की।

ग्राम पंचायत पुजारली में विकास कार्यों के लिए 47.50 लाख स्वीकृत

ग्राम पंचायत पुजारली के क्वालग में जनसभा को संबोधित करते हुए कैबिनेट मंत्री ने कहा कि इस पंचायत में 47 लाख 50 हजार रुपए के विकास कार्य पिछले ढाई से स्वीकृत करवाए गए है। डमैची से एपीजे यूनिवर्सिटी मार्ग की पासिंग शीघ्र करवा दी जाएगी। उन्होंने कहा कि यहां पर दो मंजिला पंचायत घर भवन बन रहा है। पंचायत के सभी वार्डों में सोलर लाइट स्थापित की गई है। दो आंगनबाड़ी केंद्र पुजारली और मजार की मरम्मत के लिए एक-एक लाख रुपए देने की घोषणा की।

पंचायती राज का चुनाव रोकना, लोकतंत्र के सबसे बड़े पर्व को रोकने जैसा : बिंदल

शिमला : भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉ. राजीव बिंदल ने कहा कि पंचायती राज चुनाव को सुनियोजित तरीके से कांग्रेस की प्रदेश सरकार ने स्थगित करने का जन विरोधी निर्णय लिया है। कांग्रेस पार्टी को पता है कि अगर पंचायत का चुनाव होगा तो वह जीत नहीं पाएंगे और उनका एक-एक प्रधान बुरी तरह हार का सामना करेगा।

उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी लोकतंत्र बचाने की बात करती है पर असल में कांग्रेस पार्टी लोकतंत्र के सबसे बड़े पर्व यानी मतदान को हानि पहुंचाने का कार्य कर रही है। इसका मतलब स्पष्ट है कि कांग्रेस लोकतंत्र के विरोध वाला राजनीतिक दल है। पहले डिप्टी कमिश्नर से चिट्ठी निकली और उसके बाद राजस्व मंत्रालय से आपदा की नोटिफिकेशन। साफ दिख रहा है कि कांग्रेस पार्टी की सरकार चाहती ही नहीं थी कि चुनाव हो।

योजना बनाकर किफायती दरों पर बिजली की उपलब्धता सुनिश्चित करना जरूरी : मुख्यमंत्री

कहा; ऊर्जा व्यापार में अहम भूमिका निभाएगा एचपी एनर्जी मैनेजमेंट सेंटर

शिमला : मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने कहा है कि राज्य सरकार ने बिजली की खरीद और बिक्री को सुचारू रूप से प्रबंधित करने तथा राज्य का राजस्व बढ़ाने के साथ-साथ बिजली खरीद लागत कम करने के उद्देश्य से हिमाचल प्रदेश ऊर्जा प्रबंधन केंद्र (एचपीईएमसी) की स्थापना की है।
मुख्यमंत्री आज यहां एच.पी. एनर्जी मैनेजमेंट सेंटर की बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि आने वाले सर्दियों के मौसम के मद्देनजर बिजली की खरीद के लिए कार्य योजना तैयार की जाए। उन्होंने कहा कि सर्दियों के दौरान ऊंचे क्षेत्रों में बर्फबारी होने के कारण नदियों में पानी का बहाव कम हो जाता है जिससे बिजली उत्पादन घट जाता है। ऐसे में पहले से योजना बनाकर किफायती दरों पर बिजली की उपलब्धता सुनिश्चित करना जरूरी है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि एच.पी. एनर्जी मैनेजमेंट सेंटर ऊर्जा व्यापार के क्षेत्र में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा और राज्य को अधिकतम आर्थिक लाभ दिलवाने में सहायक सिद्ध होगा। उन्होंने कहा कि इस सेंटर को पूरी पेशेवर दक्षता के साथ कार्य करना होगा ताकि पारदर्शिता और अधिकतम राजस्व सुनिश्चित किया जा सके।
ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने कहा कि राज्य सरकार इस केंद्र को और सशक्त बनाने तथा इसकी कार्यक्षमता बढ़ाने के लिए हर संभव सहयोग प्रदान करेगी। प्रदेश की वर्तमान कांग्रेस सरकार ने अपने पहले ही बजट में हिमाचल प्रदेश को 31 मार्च, 2026 तक ‘हरित ऊर्जा राज्य’ बनाने का लक्ष्य निर्धारित किया था जिसे हासिल करने के निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं।

आपदा के नाम पर सरकार पंचायत चुनाव टाल रही : जयराम ठाकुर

पंचायत चुनाव रद्द करने पर नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर की प्रतिक्रिया
शिमला : पूर्व मुख्यमंत्री को नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने दिसंबर में होने वाले पंचायत चुनाव रद्द करने पर कहा कि मुख्यमंत्री और सरकार प्रदेश के लोगों का सामना नहीं कर सकती, इसलिए आपदा की आड़ में पंचायत चुनाव नहीं करवा रही है। सरकार को इस चुनाव के परिणाम पहले से ही पता है। इन चुनावों में कांग्रेस की करारी हार तय है। इसलिए पहले नगर निगम और नगर निकाय के चुनाव से किनारा किया और अब पंचायत चुनाव को भी रोक दिया है। आपदा के नाम पर पहले डिप्टी कमिश्नर से पत्र लिखवाए गए और तत्काल चुनाव टाल दिए गए। सब कुछ सरकार द्वारा स्क्रिप्टेड था। जिस आपदा के नाम पर सरकार चुनाव टाल रही है उन्हीं आपदा प्रभावितों को सरकार ने भगवान भरोसे छोड़ दिया है। सरकार अपनी नाकामी से भागने की बजाय जनता का सामना करें और निर्धारित समय पर चुनाव करवाए।

स्वास्थ्य मंत्री ने केंद्र से किया पूरक पोषाहार की दरों में वृद्धि का अनुरोध

केन्द्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री अन्नपूर्णा देवी की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से विभिन्न राज्यों के मंत्रियों एवं अधिकारियों के साथ विभिन्न योजनाओं को लेकर समीक्षा बैठक

शिमला : केन्द्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री अन्नपूर्णा देवी ने आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से विभिन्न राज्यों के मंत्रियों एवं अधिकारियों के साथ मंत्रालय की विभिन्न योजनाओं को लेकर समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की।
बैठक में भाग लेते हुए हिमाचल प्रदेश के सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री डॉ. (कर्नल) धनीराम शांडिल ने कहा कि बाल्यकाल में उचित पोषण के महत्व को ध्यान में रखते हुए प्रदेश सरकार बच्चों की पोषण संबंधी आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए प्रमुखता से कार्य कर रही है। उन्होंने केन्द्रीय मंत्री से कुपोषण की रोकथाम के लिए केंद्र सरकार द्वारा पूरक पोषाहार की दरों में वृद्धि करने का अनुरोध किया ताकि बच्चों के पौष्टिक आहार की आवश्यकता को पूरा किया जा सके।

उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार को इस वित्त वर्ष में आंगनवाड़ी सेवा योजना के तहत 6 अक्तूबर को 66 करोड़ रुपये की राशि प्राप्त हुई है जबकि केन्द्रीय हिस्से के 113 करोड़ रुपये प्रदेश सरकार के वित्त कोष से व्यय किए जा चुके हैं। उन्होंने केन्द्रीय मंत्री से प्रदेश सरकार को दूसरी किश्त जारी करने का अनुरोध किया। उन्होंने कहा कि वर्तमान वित्त वर्ष में विशेष पोषाहार कार्यक्रम के तहत केंद्र सरकार द्वारा 4013.01 लाख रुपये की राशि प्रदान की गई है जिसमें से 1516.09 लाख रुपये खर्च किए जा चुके हैं।
हिमाचल प्रदेश की भौगोलिक स्थितियों से केन्द्रीय मंत्री को अवगत करवाते हुए शांडिल ने कहा कि हिमाचल जैसे पहाड़ी राज्य में आंगनवाड़ी भवनों के निर्माण के लिए प्री-फेबरिकेटिड ढांचे को भी शामिल किया जाना चाहिए और यह प्रयोग हिमाचल प्रदेश के लिए सफल साबित होगा। उन्होंने केंद्रीय योजना के तहत इनके निर्माण के लिए धनराशि उपलब्ध करवाने का अनुरोध किया।
डॉ. शांडिल ने कहा कि ‘पोषण भी पढ़ाई भी’ कार्यक्रम के तहत सभी डीपीओ, सीडीपीओ व सुपरवाइजर को स्टेट लेवल मास्टर ट्रेनर के रूप में प्रशिक्षित किया गया है। प्रदेश में हर बच्चे और माताओं की पौष्टिक आहार की पूर्ति के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्धता से कार्य कर रही है।