प्रदेश में नशा निवारण विशेष अभियान आरम्भ, मुख्यमंत्री ने की इस अभियान को जन आंदोलन में बदलने की अपील

  • नशा निवारण और शराबबंदी का यह विशेष अभियान प्रदेश के सभी जिलों में आरम्भ : मुख्यमंत्री
  • एक माह तक चलेगा यह अभियान

शिमला : नशे की बुराई से निपटने के लिए सामूहिक प्रयास करने की नितांत आवश्यकता है तथा नशे के दुष्प्रभावों के बारे जागरूकता लाने के लिए एक जन आनंदोलन आरम्भ किया जाना चाहिए। समाज से इस बुराई को मिटाने के लिए प्रदेश सरकार ने बहुआयामी रणनीति तैयार की है। यह बात सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग द्वारा रिज मैदान पर ‘नशे के विरुद्ध’ आरम्भ किए गए विशेष अभियान के अवसर पर मुख्यमंत्री ने लोगों को सम्बोधित करते हुए कही। मुख्यमंत्री ने कहा कि नशा निवारण और शराबबंदी का यह विशेष अभियान प्रदेश के सभी जिलों में आरम्भ किया गया। 

उन्होंने कहा कि एक माह तक चलने वाला यह अभियान इस रणनीति का हिस्सा है। उन्होंने कहा कि यह अभियान औपचारिकता मात्र ही नहीं है बल्कि इसके सकारात्मक परिणाम सामने आएंगे। उन्होंने कहा कि सभी विभागों के बेहतर समन्वय के द्वारा इन प्रयासों को फलीभूत किया जा सकता है। लोगों को जागरूक करने में चिकित्सक अपनी अहम भूमिका सकते हैं। इसी प्रकार, अध्यापक विद्यार्थियों को जागरूक कर नशे से दूर रहने को प्रेरित कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि पुलिस को नशे के माफिया से निपटने के लिए प्रभावी कदम उठाने चाहिए ताकि नशा तस्करों व इससे जुड़े लोगों के जाल को तोड़ा जा सके।

मुख्यमंत्री ने कहा कि इस बात पर अपनी प्रसन्नता व्यक्त की कि यह उनके द्वारा किए गए प्रयासों के ही परिणाम है कि नशे के विरुद्ध अभियान चलाने और कारगर नीति अपनाने के लिए सात उत्तरी राज्य एक साथ मिले। उन्होंने कहा कि इन प्रयासों से इस सामाजिक बुराई से निपटने के लिए संयुक्त रणनीति भी तैयार की तथा सूचना का आदान-प्रदान भी सम्भव हो सका। प्रदेश सरकार ने राज्य में पांच नशा मुक्ति केन्द्र खोलने का निर्णय लिया है, जिनमें पहला आज न्यू शिमला के निजी अस्पताल में स्थापित किया गया। उन्होंने कहा कि इस प्रयास से नशे के आदी लोगों को इस सामाजिक बुराई से बाहर आने में सहायता मिलेगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश के पर्यटन निगमों के होटलों को भी प्रदेश में आने वाले पर्यटकों को नशे से दूर रहने के लिए जागरूक किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि यह प्रयास हिमाचल प्रदेश को वास्तव में ‘देव भूमि’ बनाने में मील का पत्थर साबित होंगे।

मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर आनलाइन न्यू शिमला में नशा मुक्ति केन्द्र और हिमाचल प्रदेश राज्य मनोरोग चिकित्सा प्राधिकरण की वेबसाइट का शुभारम्भ किया। उन्होंने लोगों को नशे के दुष्प्रभावों के बारे में जागरूक करने के लिए पोस्टर तथा शिमला जिला प्रशासन द्वारा तैयार की गई प्रचार समग्री भी जारी की। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने नशा निवारण रैली को भी रवाना किया।

शिक्षा मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि प्रदेश में नशे के बढ़ते मामले निसंदेह चिंता का विषय है। उन्होंने कहा कि हमारा पड़ोसी राज्य पंजाब जो कभी गुरुओं की भूमि और देश का ‘फूडवाउल’ के नाम से जाना जाता था, आज नशे के चंगुल में बुरी तरह से फंसा हुआ है।

सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री डा. राजीव सैजल ने कहा कि किसी भी देश का भविष्य वहां के युवाओं पर निर्भर करता है, परंतु दुर्भाग्यवश आज के युवा नशे के जाल में फंस रहा है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में नशा मुक्ति केन्द्रों को स्थापित किया गया है ताकि युवा नशे से चंगुल से बाहर आ सके।

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