चंबा: केसर की खेती के लिए वैज्ञानिकों ने दी जानकारी

हिमालय जैव संपदा प्रौद्योगिकी संस्थान और कृषि विभाग के संयुक्त तत्वावधान में कार्यशाला आयोजित

भरमौर उपमंडल के तहत कुठेड़ गांव में आयोजित हुई किसान – वैज्ञानिक संवाद कार्यशाला

कार्यशाला में क्षेत्र के लगभग 50 किसानों ने लिया हिस्सा

चंबा: ज़िला में किसानों को केसर की खेती से जोड़ने के लिए हिमालय जैव संपदा प्रौद्योगिकी संस्थान और कृषि विभाग के संयुक्त तत्वावधान में आज उपमंडल भरमौर के तहत कुठेड़ पंचायतघर में एक दिवसीय किसान – वैज्ञानिक संवाद कार्यशाला का आयोजन किया गया

उपनिदेशक कृषि विभाग डॉ. कुलदीप धीमान ने जानकारी देते हुए बताया कि संवाद कार्यशाला में होली क्षेत्र के लगभग 50 किसानों ने भाग लिया । इसमें विशेषज्ञों द्वारा किसानों को केसर के उत्पादन से संबंधित महत्वपूर्ण जानकारियां प्रदान की गई।

कार्यशाला में हिमालय जैव संपदा प्रौद्योगिकी संस्थान के वरिष्ठ प्रधान वैज्ञानिक व परियोजना समन्वयक डॉ. राकेश कुमार राणा ने उपस्थित लोगों को महत्वपूर्ण जानकारियों से अवगत करवाया । उन्होंने यह भी बताया कि जनजातीय क्षेत्र भरमौर केसर की खेती के लिए उपयुक्त है । उच्च गुणवत्ता युक्त पैदावार के लिए यहां का वातावरण फूलों के खिलने और उत्पादन बढ़ाने के लिए मददगार हैं।

उन्होंने यह भी बताया कि हिमालय जैव संपदा प्रौद्योगिकी संस्थान द्वारा केसर के उत्पादन को लेकर प्रशिक्षण उपलब्ध करवाने के साथ नि:शुल्क बीज वितरण का भी प्रावधान है ।

कार्यशाला में हिमालय जैव संपदा प्रौद्योगिकी संस्थान के वैज्ञानिक डॉ विजय ध्यानी, डॉ सेजल जाम्बल, डॉ नेहा चौधरी व कृषि विभाग से विषय वस्तु विशेषज्ञ डॉ.करतार सिंह ने भी महत्वपूर्ण जानकारियां साझा क ।

इसके बाद कुठेड़ गांव में हिमालय जैव संपदा प्रौद्योगिकी संस्थान के वैज्ञानिकों ने केसर की खेती का निरीक्षण और किसानों को आवश्यक सुझाव भी दिए।

इस अवसर पर कृषि प्रसार अधिकारी गौरी शर्मा, स्थानीय पंचायत प्रधान सिरमौरी राम उपस्थित रहे ।

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