राज्यपाल का महिलाओं से कृषि गतिविधियों में भाग लेने का आग्रह

  • कृषि विवि के दीक्षांत समारोह में विद्यार्थियों को प्रदान की गई डिग्रीयां

 

 राज्यपाल रूद्राक्ष का पौधा रोपित  करते हुए

राज्यपाल रूद्राक्ष का पौधा रोपित करते हुए

शिमला: राज्यपाल आचार्य देवव्रत ने कहा कि महिलाएं हर क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य कर रही हैं। उन्होंने कहा कि महिलाओं को कृषि गतिविधियों में भाग लेने के लिए आगे आना चाहिए ताकि इस क्षेत्र को उनके योगदान से और मजबूत किया जा सके। वह आज चौधरी सरवण कुमार हिमाचल प्रदेश कृषि विश्वविद्यालय, पालमपुर के 13वें दीक्षांत समारोह में बोल रहे थे। उन्होंने 212 विद्यार्थियों को डिग्री प्रदान की, जिनमें 5 डॉक्टरेट, 65 स्नातकोत्तर और 142 स्नातक डिग्री शामिल हैं।

राज्यपाल ने कहा कि यदि महिलाएं खेतीबाड़ी गतिविधियों में भाग लेती हैं, तो कृषि क्षेत्र में क्रांति आएगी, क्योंकि महिलाएं कठिन परिश्रम करती हैं। उन्होंने छात्राओं से आग्रह किया कि वह विश्वविद्यालयों में कृषि से संबंधित शिक्षा ग्रहण करें और अपने आप को खेतीवाड़ी गतिविधियों की जानकारी से जोडें। उन्होंने कहा कि विशेषज्ञ तकनीकी का प्रभावी योगदान इस क्षेत्र में क्रांति ला सकता है।

आचार्य देवव्रत ने प्रदेश के किसानों से पारम्परिक जैविक खेती को अपनाने का आह्वान किया और साथ ही अपने उत्पादों में गुणवत्ता बढ़ाने को भी कहा ताकि उन्हें बाजार में अपने उत्पादों के उचित मूल्य प्राप्त हो सकें। उन्होंने कहा कि जैविक उत्पाद न केवल स्वास्थ के लिए अच्छे हैं, बल्कि जैविक खेती पर्यावरण मित्र भी है। उन्होंने कीटनाशकों व रासायनिक खादों के उपयोग पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि इससे न केवल स्वास्थ्य पर दुष्प्रभाव पड़ता है, वहीं भूमि की उवर्रता भी प्रभावित होती है। उन्होंने किसानों से खेती की पारम्परिक प्रक्रिया अपनाने को कहा। उन्होंने कहा कि स्वदेशी बीजों के संरक्षण के प्रयास किए जाएंगे।

राज्यपाल ने विश्वविद्यालय के वैज्ञानिकों का आह्वान किया कि वह लोगों को जैविक व पारम्परिक खेती बारे शिक्षित करने के लिए प्रदेश भर में शिविरों का आयोजन करें। उन्होंने कहा कि प्रदेश में वर्तमान कृषि प्रक्रिया में सुधार लाने के लिए जीरो बजटिंग प्रणाली अपनाने के लिए विशेष जागरूकता अभियान चलाया जाना चाहिए। उन्होंने वैज्ञानिकों से कहा कि वह गहन अनुसंधान का संचालन करें और नई तकनीक विकसित करने के साथ-साथ वर्तमान विशेषकर जैविक खेती में सुधार लाएं। उन्होंने कहा कि प्रयोगशालाओं में किए गए अनुसंधान को खेतों तथा किसानों तक पहुंचाना होगा। उन्होंने देशी गऊओं की नस्ल में सुधार लाने पर भी बल दिया। आचार्य देवव्रत ने कहा कि युवा देश की धरोहर होते हैं और उन्हें राष्ट्र निर्माण गतिविधियों में अपना योगदान देना चाहिए। उन्होंने कहा कि कोई भी राष्ट्र तभी उन्नति कर सकता है, जब उसके युवा अनुशासित हो। उन्होंने युवाओं से अनुशासन, देशभक्ति, लग्न व समर्पण जैसे मूल्य अपनाने का आग्रह किया। राज्यपाल ने इस अवसर पर रूद्राक्ष का पौधा भी रोपित किया।

हिमाचल प्रदेश विधानसभा अध्यक्ष बी.बी.एल. बुटेल ने इस अवसर पर डिग्री प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को शुभकामनाएं देते हुए उनका आह्वान किया कि वे प्रदेश की उन्नति के लिए समर्पण की भावना से कार्य करें और अपने ज्ञान का प्रदेश की कृषि गतिविधियों में सुधार लाने के लिए उपयोग करें। बुटेल ने कहा कि 70 प्रतिशत रोजगार कृषि, बागवानी और पशुपालन क्षेत्र में सृजित हो रहा है और कृषि का प्रदेश के सकल घरेलू उत्पाद में 14 प्रतिशत का योगदान है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार किसानों को कृषि गतिविधियों में विविधिकरण अपनाने के लिए प्रोत्साहित कर रही है ताकि उनकी आर्थिकी को और सुदृढ़ किया जा सके। उन्होंने कहा कि प्रदेश में सब्जियों तथा गैर मौसमी सब्जियों का उत्पादन बढ़कर 151 लाख मिट्रिक टन हो गया है तथा 75 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में सब्जियों का उत्पादन किया जा रहा है।

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