आइये जानें चिलगोजा के खाने फायदे और नुकसान..

भोजन के बाद चिलगोजे खाना स्वास्थ्य के लिए उत्तम

चिलगोजा स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद, अधिक सेवन नुकसानदेह 

चिलगोजा खाने से हमारे स्वास्थ्य को बहुत से फायदे होते हैं लेकिन वहीं इसके कुछ नुकसान भी हैं। हम आपको अपने हेल्थ कॉलम में चिलगोजे के फायदे और इसके इस्तेमाल के तरीके बताने जा रहे हैं। चिलगोजा खाने में स्वादिष्ट होता है वहीं पोष्टिक भी होता है। इसमें प्रोटीन, वसा तथा विटामिन अच्छी मात्रा में होते हैं। यह रक्तवर्धक और शरीर के विकास के लिए परम लाभदायक है इसकी तासीर गर्म और तर होती है। यह देर से पचता है भोजन के बाद इसका सेवन करना लाभप्रद है। चिलगोजे को भोजन से पहले खाने से भूख कम हो जाती है। इसे सदैव थोड़ी मात्रा में खाना चाहिए। थोड़े से चिलगोजे खाकर ऊपर से गर्म दूध पिएं कुछ सप्ताह में शरीर की कमजोरी दूर हो जाएगी। चिलगोजे के सेवन से थके हुए ज्ञान तंतुओं को उत्तम पोषण मिलता है। शरीर में नई शक्ति आ जाती है और स्मरण शक्ति का विकास होता है। जिन लोगों का मस्तिष्क दुर्बल हो उन्हें प्रतिदिन चिलगोजे खाकर ऊपर से गर्म दूध पीना चाहिए। सुबह नाश्ते के बाद और रात को भोजन के बाद चिलगोजे खाना उत्तम है इससे कमजोरी, चक्कर और सिर दर्द में लाभ होता है। चिलगोजा का सेवन जहाँ स्वास्थ्य के लिए काफी फायदेमंद हैं वहीं इसके कुछ नुकसान भी हैं जो शरीर को प्रभावित कर सकते हैं

भारत में चिलगोजा कश्मीर में किश्तवाड़ और हिमाचल प्रदेश में पांगी, भरमौर और किन्नौर में पाया जाता है। किन्नौर में सबसे बड़ा चिलगोजा वन है, जो लगभग 2,000 हेक्टेयर क्षेत्र में फैला है। पतले चिलगोजा के बीजों को अत्यधिक पौष्टिक माना जाता है। किन्नौर में सेब के बाद चिलगोजा ही यहां के लोगों की की आमदनी का बेहतर जरिया है। चिलगोजे का पेड़ सदाबहार होता है जो 12 महीने हरा-भरा रहता है। इस पेड़ में इस वर्ष की फसल लगने के साथ-साथ अगले वर्ष की फसल भी इसी वर्ष पेड़ में तैयार हो जाती है जो इस प्राकृतिक पेड़ की खासियत है। चिलगोजे की फसल को तैयार होने में करीब 7 महीने लग जाते हैं।

चिलगोजा खाने के फायदे

मधुमेह जैसी बीमारी में खान-पान का विशेष ध्यान देना पड़ता है। ऐसे में अगर आप चिलगोजे का सेवन कर रहे हैं एक रिसर्च के मुताबिक पाइन नट्स के प्रयोग से कोलेस्ट्रॉल का लेवल कम हो जाता है। चिलगोजा में कैल्शियम, पोटैशियम और मैग्नेशियम जैसे मिनरल्स मौजूद होते हैं। एक दूसरी रिसर्च में पाया गया कि इन तत्वों वाले नट का सेवन अगर किया जाए तो यह डायबिटीज के खतरे को कम कर सकते हैं।

चिलगोजा खाने से ह्रदय का स्वास्थ्य भी बेहतर होता है। चिलगोजा एक नट है और एक साइंटिफिक रिसर्च के अनुसार नट्स का सेवन करने से दिल से संबंधित बीमारियों का खतरा कम हो सकता है। चिलगोजा खाने से कोलेस्ट्रॉल को संतुलित किया जा सकता है क्योंकि इसमें कोलेस्ट्रॉल की मात्रा बिल्कुल भी नहीं होती है। यही वजह है कि चिलगोजा का सेवन करने से कोलेस्ट्रॉल बढ़ने का खतरा नहीं होता।

वजन नियंत्रित रखने में भी चिलगोजा फायदेमंद होता है। चिलगोजे में पिनोलेनिक एसिड मौजूद होता है जिसमें 14 से 19 प्रतिशत फैटी एसिड होते हैं। ये एसिड भूख को कंट्रोल कर वजन को कम करने में मदद करते हैं।

चिलगोजा खाने से काजू बादाम से भी ज्यादा फायदे मिलते हैं। ये पिस्ता, बादाम की तरह ही एक ड्राई फ्रूट है। आयुर्वेद में कई दवाओं में इसका इस्तेमाल किया जाता है। चिलगोजा खाने से शरीर में ताकत आती है और ठंड में गर्मी बनी रहती है। हड्डियों को मजबूत बनाने के लिए यह एक बेहतर सीड्स हैं। कई दवाओं में चिलगोजा का तेल भी इस्तेमाल किया जाता है।

चिलगोजा खाने से खांसी और दमा जैसी बीमारियों में आराम मिलता है।

चिलगोजा जितना खाने में फायदेमंद है उतना ही इसका तेल लगाने से फायदा मिलता है। इसका तेल लगाने से जोड़ों का दर्द और गठिया के दर्द में आराम मिलता है।

रोजाना 5-6 चिलगोजा खाने से शारीरिक कमजोरी दूर होती है। सर्दियों में आपको जरूर चिलगोजा का सेवन करना चाहिए। आप बच्चों को भी ये खिला सकते हैं। बच्चों को 2 से 3 चिलगोजे ही खाने चाहिए।   

चिलगोजा सारे पोषक तत्व देने वाला एकमात्र नट

  • चिलगोजे में नेचुरल विटामिन A, E, B1, B2, C कॉपर, मैग्नीशियम, जिंक, मेग्नीज, कैल्शियम और आयरन पाया जाता है।

  • अगर आप कुछ दिन तक रोज 5 चिलगोजे खा लेते हैं तो आपकी स्किन पर ग्लो आ जाएगा। खून की कमी दूर हो जाएगी। इनके अलावा भी चिलगोजे के दूसरे फायदे भी हैं।

चिलगोजा गंभीर बीमारी से करता है बचाव 

  • चिलगोजे के फायदे कैंसर जैसी गंभीर बीमारी से बचाव में भी देखने को मिलते हैं। कैंसर से बचने के लिए पाइन नट का सेवन लाभदायक होता है। पाइन नट्स में रिस्वेराट्रोल नाम का एंटीऑक्सीडेंट मौजूद होता है, जो कैंसर के खतरे को कम करने में मदद करता है। इसके साथ ही पाइन नट यानि चिलगोजे में मौजूद फॉलिक एसिड डीएनए (DNA)  में हुई क्षति को कम करने में मददगार साबित होता है।

  • मेन्टल हेल्थ में चिलगोजा खाने के बहुत फायदे मिलते हैं। चिलगोजा में ओमेगा-3 एसिड पाया जाता है, जो दिमाग की कोशिकाओं को बेहतरीन रूप से चलाने में फायदेमंद होता है। चिलगोजा खाने से ओमेगा-3 फैटी एसिड्स दिमाग की कोशिकाओं के बेहतर तरीके से काम करने और याद्दाश्त को मजबूत बनाने में फायदेमंद होता है।

  • चिलगोजा खाने से हड्डियों को मजबूती मिलती है। इसके अलावा चिलगोजे में कैल्शियम भी होता है जो हड्डियों की मजबूती और विकास में महत्वपूर्ण होता है।

  • इम्युनिटी बढ़ाने और बीमारियों से खुद को बचाने के लिए भी चिलगोजा प्रयोग किया जा सकता है। चिलगोजे में जिंक मौजूद होता है, जो बीमारियों से लड़ने की क्षमता को बढ़ाता है।

  • आंखों की देखभाल के लिए चिलगोजा में मौजूद ओमेगा-3 काफी मददगार होता है। ये आपकी आंखों के लिए भी फायदेमंद है

  • एंटीऑक्सिडेंट्स हमारी सेल्स को नुकसान पहुंचने से बचाते हैं। अगर आप चिलगोजा का सेवन कर रहे हैं तो इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स (विटामिन ए, विटामिन सी और विटामिन ई) कोशिकाओं को डैमेज से बचाएंगे।

  • चिलगोजा में विटामिन-सी (एस्कॉर्बिक एसिड) प्रचुर मात्रा में पाया जाता है। विटामिन-सी सूर्य की हानिकारक किरणों से त्वचा की रक्षा करता है और बालों को घना करता है।

  • चिलगोजा जिंक जैसे पोषक तत्व से भरा होता है जिंक गर्भावस्था के दौरान भ्रूण के विकास में मदद करता है। गर्भावस्था के दौरान पाइन नट्स का सेवन किया जा सकता है, लेकिन प्रेगनेंसी में बहुत कम खाने की सलाह दी जाती है।

चिलगोजा के नुकसान

  • चिलगोजा खाने में जितना फायदेमंद हैं, ठीक से प्रयोग ना करने पर उसके उतने ही नुकसान भी हैं। अगर आपको नट्स खाने ने से किसी भी तरह की एलर्जी है तो चिलगोजा खाना शुरू करने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें। ऐसा ना करने पर यह आपके लिए नुकसानदायक हो सकता है। दरसअल इसमें मौजूद ओमेगा-6 एलर्जी का कारण बन सकता है। चिलगोजे में जिंक भी पाया जाता है और जिंक का बहुत अधिक मात्रा में सेवन मितली, उल्टी, भूख में कमी, पेट में ऐंठन, लूज मोशन और सिरदर्द का कारण बन सकता है।

  • चिलगोजे में विटामिन-ए, विटामिन-ई, विटामिन-के मौजूद होते हैं जिनका अत्यधिक सेवन शरीर में टॉक्सिन बनने का कारण बन सकता है।

  • यदि आप गर्भवती हैं या स्तनपान करा रही हैं तो पाइन नट लेने की सुरक्षा के बारे में पर्याप्त विश्वसनीय जानकारी नहीं है तो चिलगोजा के उपयोग से बचें।

  • पाइन अस्थमा एलर्जी के लक्षणों में वृद्धि का कारण बन सकता है, यहां तक कि उन लोगों में भी जो पाइन त्वचा परीक्षण के लिए नकारात्मक परीक्षण करते हैं।

  • कुछ व्यक्तियों का कहना है कि पाइन नट खाने के बाद वे एक कड़वा स्वाद अनुभव करते हैं। यह लक्षण सामान्य तौर पर कुछ ही मिनटों में दूर हो जाता है, लेकिन कुछ घंटों तक भी रह सकता है।

  • बाजार से खरीदते वक्त इसको कभी भी बिना छिलके न खरीदें। ये बहुत फायदा करता है ऐसा सोचकर इसे 5 से ज्यादा न खाएं। इसे खाली पेट नहीं खाना चाहिए।

  • चिलगोजा के अनेकों फायदे हैं लेकिन इसे सीमित मात्रा में ही खाये। खाने के सम्बन्ध में डॉक्टरी सलाह ली जा सकती है।

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