हिमाचल विधानसभा : 15 दिवसीय बजट सत्र सम्पन्न

हिमाचल: प्रदेश की तेहरवीं विधान सभा का चौदहवां व वर्तमान सरकार का 5वां अन्तिम बजट सत्र सम्पन्न हुआ। यह सत्र राज्यपाल हिमाचल प्रदेश राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर के अभिभाषण के साथ 23 फरवरी को आरम्भ हुआ और आज 15 मार्च को 15 बैठकों के साथ सम्पन्न हुआ। 4 मार्च को  मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने वर्तमान सरकार का 5वां बजट पेश किया।

हिमाचल प्रदेश विधानसभा में मंगलवार को वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए 54,592.02 करोड़ रुपये के बजट सहित पांच विधेयक पारित किए गए। 4 मार्च को पेश बजट से 3200 करोड़ रुपये और बढ़ गए। चार मार्च को मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने 51,365 करोड़ रुपये का बजट पेश किया था। इसी के साथ 15 दिवसीय बजट सत्र का समापन हो गया। यह जयराम सरकार का पांचवां बजट सत्र था। मंगलवार को दोपहर के बाद मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने सदन में 54,592.02 करोड़ रुपये का बजट पारित करने का प्रस्ताव रखा। इसे ध्वनिमत से पारित कर दिया।

इसमें 43,455.10 करोड़ रुपये राजस्व और 11,136.91 करोड़ रुपये पूंजीगत व्यय के लिए रखे गए हैं। सत्र के अंतिम दिन सदन में पांच विधेयक पारित हुए। इनमें बजट के लिए विनियोग विधेयक के अलावा राजस्व मामलों को कम समय में निपटाने के लिए हिमाचल प्रदेश भू राजस्व संशोधन विधेयक, चाय बागानों से संबंधित हिमाचल प्रदेश भू जोत अधिकतम सीमा संशोधन विधेयक, शिमला नगर निगम के वार्ड बढ़ाने से संबंधित हिमाचल प्रदेश नगर निगम संशोधन विधेयक और हिमाचल प्रदेश स्लमवासी सांपत्तिक अधिकार विधेयक को भी सत्र के अंतिम दिन पारित किया गया। 

सत्र के दौरान प्रश्नकाल भी हुए नियमों के तहत सार्थक तथा उपयोगी चर्चाएं भी हुई। सत्र के प्रथम दिन राज्यपाल का अभिभाषण प्रस्तुत हुआ तथा राज्यपाल के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा चार दिन (दिनांक 24 फरवरी से 2 मार्च, 2022) हुई जिसमें कुल 42 सदस्यों (पक्ष-21, प्रतिपक्ष-19, सी पी आई (एम)-1 व निर्दलीय-1 )  ने भाग लिया  तथा चर्चा 14 घण्टे 16 मिनट तक चली, चर्चा उपरान्त मुख्यमन्त्री ने  2 मार्च को  (1 घण्टे 07 मिनट) चर्चा का उत्तर दिया  तथा पारण हुआ। 26 फरवरी को मुख्यमन्त्री ने अनुपूरक बजट भी प्रस्तुत किया।

4 मार्च को मुख्य मन्त्री द्वारा बजट अनुमान वित्तीय वर्ष 2022-2023 प्रस्तुत किया। बजट अनुमानों पर सामान्य चर्चा चार दिन (5 से 9 मार्च) हुई जिसमें कुल 34 सदस्यों (पक्ष-25, प्रतिपक्ष-22, सी पी आई (एम)-1 व निर्दलीय-1 ) ने भाग लिया एवं चर्चा 1 7 घण्टे 14 मिनट तक चली, चर्चा उपरान्त मुख्य मन्त्री ने दिनांक 11 मार्च तक चर्चा का उत्तर  दिया।

 14 मार्च, से आज तक वजट की अनुदान मांगों पर विपक्ष ने अपने-अपने कटौती प्रस्ताव प्रस्तुत किए एवं सार्थक चर्चा की, चर्चा उपरान्त मुख्य मन्त्री /मन्त्रियों ने अपनी – अपनी मांगों से सम्बन्धित उत्तर दिए एवं मांगे पारित हुई। तदोपरान्त शेष मांगें  गिलोटिन द्वारा सभी पूर्ण रूप से पारित हुई एवं विनियोग विधेयक पर विचार विमर्श एवं पारण हुआ।

 सत्र में जनहित के महत्वपूर्ण विषयों पर प्रश्नों के माध्यम से चर्चा हुई व सुझाव दिए गये जिनके दूरगामी परिणाम होंगे। इस सत्र के दौरान  कुल 617 तारांकित तथा  362 अतारांकित प्रश्नों की सूचनाओं पर सरकार द्वारा उत्तर उपलब्ध करवाए गए।

सत्र में नियम-62 के अन्तर्गत 1 विषय तथा सत्र में दो दिन गैर-सरकारी सदस्य दिवस निर्धारित थे जिस पर माननीय सदस्यों ने  नियम 101 के अन्तर्गत 4 गैर-सरकारी संकल्प प्रस्तुत किए । जिन पर माननीय सदस्यों ने सार्थक चर्चा की। इसमें से दो संकल्प चर्चा उपरान्त सदस्यों द्वारा सदन से वापिस लिये गये। एक संकल्प पिछले सत्र से प्रस्तुत था उस पर भी माननीय सदस्यों ने चर्चा की और एक संकल्प का उत्तर माननीय मन्त्री द्वारा अगले सत्र में दिया जायेगा।

  इसके अतिरिक्त 5 सरकारी विधेयक भी सभा में पुर:स्थापित एवं पारित किये गए। इसमें से एक विधेयक प्रवर समिति को अनुशंसा हेतु प्रस्तुत था जिस पर समिति ने अपना प्रतिवेदन भी तैयार किया। सदन द्वारा यह विधेयक चर्चा उपरान्त पास किया गया। नियम-324 के अन्तर्गत विशेष उल्लेख के माध्यम से 13 विषय सभा में उठाये गये तथा सरकार द्वारा इस सम्बन्ध में वस्तुस्थिति से अवगत करवाया गया।

सभा की समितियों ने भी 54 प्रतिवेदन सभा में उपस्थापित किये। इसके अतिरिक्त मन्त्रियों द्वारा अपने-अपने विभागों से सम्बन्धित दस्तावेज भी सभा पटल पर रखे  गए तथा महत्वपूर्ण वक्तव्य भी दिये गए।

 इस सत्र के दौरान माननीय सदस्यों द्वारा पूर्व मे सदस्य रहे स्वर्गीय श्री कश्मीरी लाल जोशी व श्री चमन लाल पूर्व सदस्यों को सदन में श्रद्धांजलि दी गई जिनका पिछले सत्र के बाद निधन हुआ था 

प्रश्नों से सम्बन्धित जो सूचनाएं माननीय सदस्यों से प्राप्त हुई है वह मुख्यत: बढ़ती मंहगाई व बेरोजगारी, सड़कों की दयनीय स्थिति, स्वीकृत सड़कों की  DPR’s, प्रदेश में महाविद्यालयों, स्कूलों, स्वास्थ्य संस्थानों इत्यादि का उन्नयन एवं विभिन्न विभागों में रिक्त पदों की पद्पूर्ति, पर्यटन, उद्यान, पेयजल की आपूर्ति, युवाओं में बढ़ते नशे के  प्रयोग की रोकथाम, बढ़ते अपराधिक मामलों व सौर ऊर्जा, परिवहन व्यवस्था, NPS तथा आऊट सोर्स कर्मचारियों पर आधारित है। इसके अतिरिक्त सदस्यों ने प्रश्नों के माध्यम से अपने-अपने निर्वाचन क्षेत्रों  से सम्बन्धित मुख्य मुद्दों को भी उजागर किया गया।

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