राजधानी शिमला में वृद्धावस्था पैंशन से 12 हजार 857 लोग हुए लाभान्वित

  • शिमला में वृद्धावस्था पैंशन प्राप्त करने वाले लोगों की संख्या बढ़कर अब 33328

शिमला: वर्तमान प्रदेश सरकार द्वारा सामाजिक सुरक्षा पैंशन के तहत बिना किसी आय सीमा के वृद्धावस्था पैंशन प्राप्ति की आयु सीमा 80 वर्ष से घटाकर 70 वर्ष किए जाने से शिमला जिला में 12 हजार 857 लोग लाभान्वित हुए हैं। जिला शिमला में वृद्धावस्था पैंशन प्राप्त करने वाले लोगों की संख्या बढकर अब 33328 हो गई है। यह जानकारी शिक्षा, विधि व संसदीय मामले मन्त्री सुरेश भारद्वाज ने आज यहां जिला कल्याण समिति और अनुसूचित जाति उपयोजना के अन्तर्गत समीक्षा बैठक की अध्यक्षता करते हुए दी।

सुरेश भारद्वाज ने कहा कि वरिष्ठ नागरिक, समाज का एक संवेदनशील अंग है, उन्हें बेहतर सामाजिक सुरक्षा प्रदान करने के लिए सरकार ने ऐसे वरिष्ठ नागरिकों, जिन्हें कोई अन्य पैंशन प्राप्त न हो रही हो, की वृद्धावस्था पैंशन की आयु सीमा को बिना किसी आय सीमा के 80 से घटाकर 70 वर्ष किया है। इन निर्णयों से सरकार की प्रदेश के विकास को गति देने और जनता को जवाबदेह एवं संवेदनशील शासन सुनिश्चित करने की प्रतिबद्धता झलकती है। सुरेश भारद्वाज ने कहा कि वर्ष 2017-18 में विभाग की विभिन्न कल्याण योजनाओं पर जिला में 55 करोड़ 55 लाख 57 हजार 321 रूपये की राशि व्यय की गई है तथा वर्तमान वित्त वर्ष में इसके लिए 58 करोड़ 37 लाख रूपये का प्रावधान किया गया है।

वित्त वर्ष 2017-18 में सामाजिक सुरक्षा पैंशन योजना के तहत 53 करोड़ 17 लाख 51 हजार 456 रूपये व्यय कर 47 हजार 430 पात्र लोगों को लाभान्वित किया गया। अन्तर्जातीय विवाह पुरस्कार योजना के तहत वित्त वर्ष 2017-18 में 8 लाख 50 हजार रूपये व्यय कर 19 लोगों लाभ प्रदान किया गया। वित्त वर्ष 2017-18 में अनुवर्ती कार्यक्रम के तहत अनुसूचित जनजाति/अनुसूचित जाति/अन्य पिछड़ा वर्ग के पात्र व्यक्तियों को सिलाई/बुनाई/बढई व लोहार के कार्य के लिए सिलाई मशीन/औजार क्रय करने के लिए 11 लाख 30 हजार 400 रूपये व्यय कर 640 लोगों को लाभान्वित किया गया।

उन्होंने बताया कि वित्त वर्ष 2017-18 में गृह अनुदान योजना के तहत एक करोड़ 47 लाख व्यय कर 132 लोगों को लाभान्वित किया गया। वर्तमान वित्त वर्ष में जिला के डोडरा कवार क्षेत्र में गृह अनुदान योजना, विकलांग विवाह अनुदान, राष्ट्रीय परिवार सहायता कार्यक्रम, वृद्धावस्था पैंशन, विधवा पैंशन, कुष्ठ राहत भत्ता और विकलांग राहत भत्ता योजनाओं के माध्यम से 88 लाख 50 हजार रूपये व्यय कर 780 लोगों को लाभान्वित करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। शिक्षा मन्त्री ने बताया कि वित्त वर्ष 2017-18 के दौरान अनुसूचित जाति उपयोजना के अन्तर्गत जिला के विभिन्न विकास कार्यो पर 6770 लाख रूपये व्यय किए गए हैं। सुरेश भारद्वाज ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि विभिन्न योजनाओं के तहत आबंटित बजट को उसी लक्ष्य की पूर्ति के लिए खर्च किया जाए जिसके लिए यह बजट आबंटित किया गया है। उन्होंने निर्देश दिए कि अनुसूचित जाति उपयोजना के अन्तर्गत समीक्षा बैठक तथा जिला कल्याण समिति की त्रैमासिक बैठक समयबद्व आयोजित की जाएं।

बैठक में हिस्सा लेने वाले अधिकारी यह सुनिश्चित करें कि उनसे सम्बन्धित विकास कार्य के बारे में सभी आंकड़े तथा विवरण उनके पास विस्तृत रूप में उपलब्ध होंगे। उन्होंने सभी अधिकारियों को लोगों की शिकायतों का निपटारा समयबद्व सुनिश्चित करने के निर्देश भी दिए।

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