प्रदेश सरकार की आगामी 6 माह में कार्यान्वयन की जाने वाली योजनाएं….

शिमला: मुख्यमंत्री स्वावलम्बन योजनाः इस योजना के अंतर्गत स्थानीय उद्यम को बढ़ावा देने और युवाओं को स्वरोज़गार के साधन उपलब्ध करवाने का प्रावधान किया गया है। इस योजना के अंतर्गत प्रदेश के 18 से 35 वर्ष आयुवर्ग के युवाओं को निम्न सुविधाएं प्रदान की जाएंगी :-

  • उद्योगों में 40 लाख रुपये तक के निवेश पर संयंत्र मशीनरी के निवेश पर 25 प्रतिशत उपदान दिया जाएगा। युवतियों-महिलाओं को प्रोत्साहित करने के लिए निवेश पर 30 प्रतिशत उपदान दिया जाएगा।
  • 40 लाख रुपये के ऋण पर 3 वर्ष के लिए 5 प्रतिशत ब्याज उपदान दिया जाएगा।
  • सरकारी भूमि को 1 प्रतिशत की दर पर पट्टा दिया जाएगा।
  • अगर युवा निजी भूमि खरीदना चाहता है तो स्टॉम्प ड्यूटी वर्तमान 6 प्रतिशत के बजाय 3 प्रतिशत की दर से देय होगी।

मुख्यमंत्री युवा आजीविका योजनाः यह योजना सेवा तथा व्यापार क्षेत्र में रोज़गार बढ़ाने के लिए बनाई गई है। इसमें खुदरा व्यापार-दुकान रेस्टोरेंटए टूर ऑपरेटर, साहसिक पर्यटन, परम्परागत शिल्प इत्यादि कार्य शामिल होंगे। इसमें 18 से 35 वर्ष के बीच के हिमाचली युवाओं को निम्नलिखित प्रोत्साहन प्रदान किए जाएंगे :-

  • 30 लाख रुपये तक की राशि तक भूमि व मकान को छोड़कर किए गए निवेश पर 25 प्रतिशत उपदान दिया जाएगा जबकि महिला उद्यमियों के लिए उपदान 30 प्रतिशत होगा।
  • 30 लाख रुपये तक के ऋण पर तीन वर्षों के लिए 3 प्रतिशत ब्याज अनुदान भी दिया जाएगा।
  • व्यापार तथा सेवा कार्य आरम्भ करने हेतु भूमि तथा भवन की खरीद पर स्टॉम्प ड्यूटी वर्तमान 6 प्रतिशत से घटाकर 3 प्रतिशत की दर से ली जाएगी। इस योजना के लिए वर्ष 2018.19 में 75 करोड़ रुपये का बजट प्रावधान किया गया है।

नई राहें-नई मंजिलें : इसके अंतर्गत स्थानीय युवाओं में रोज़गार बढ़ाने हेतु पर्यटकों को अनछुए क्षेत्रों में भी भेजने की योजना पर बल दिया जाएगा। अनुछुए क्षेत्रों में सड़कए परिवहनए पार्किंग एवं मूलभूत सुविधाओं की संरचना की जाएगी। इस योजना के लिए 50 करोड़ रुपये का बजट प्रावधान प्रस्तावित किया गया है।

मुख्यमंत्री आदर्श विद्या केन्द्र : इस योजना के अंतर्गत चरणबद्ध तरीके से सभी विधानसभा क्षेत्रों में जहॉं नवोदय विद्यालय या एकलव्य विद्यालय नहीं है वहां पर एक आदर्श रिहायशी विद्यालय स्थापित किया जाएगा। इसमें सभी सुविधाओं के साथ निःशुल्क शिक्षा प्रदान की जाएगी तथा छात्रावास की सुविधा भी उपलब्ध होगी। इसके अंतर्गत प्रथम चरण में ऐसे 10 आदर्श विद्यालय स्थापित किए जाएंगे तथा इस योजना के लिए 25 करोड़ रुपये का बजट प्रस्तावित किया गया है।

हिमाचल गृहिणी सुविधा योजना: इस योजना से महिलाओं को रसोई के लिए ईंधन की लकड़ी इकट्ठा करने से छुटकारा मिलेगा। अतः योजना में उन परिवारों की गृहिणियों को रसोई गैस सिलेंण्डरों की जमा राशि तथा गैस चूल्हे के लिए आर्थिक मदद प्रदान की जाएगी जो “उज्ज्वला योजना” में शामिल नहीं हैं। इससे हिमाचल के सभी परिवारों के पास अगले दो वर्षों में रसोई गैस की सुविधा हो सकेंगी।

स्वास्थय में सहभागिता योजना : इसके अंतर्गत यदि कोई व्यक्तिध्चिकित्सक चुने हुए ग्रामीण क्षेत्र में एलोपैथिक निजी अस्पताल स्थापित करता है तो उसे 1 करोड़ रुपये तक के निवेश पर 25 प्रतिशत निवेश उपदान तथा तीन वर्षों तक 5 प्रतिशत ब्याज उपदान दिया जाएगा।

मुख्यमंत्री आशीर्वाद योजना : इस योजना में चिकित्सा संस्थान में प्रसव कराने पर दी जाने वाली 700 रुपये की राशि के अतिरिक्त अस्पताल में जन्मे सभी नवजात शिशुओं को 1500 रुपये मूल्य की “नव आगंतुक किट” भी दी जाएगी। इस प्रयोजन के लिए 15 करोड़ रुपये का बजट प्रावधान किया गया है।

मुख्यमंत्री चिकित्सा सहायता कोष: गम्भीर बीमारियों से पीड़ित ज़रूरमंद एवं गरीब लोगों को आर्थिक सहायता देने के लिए मुख्यमंत्री चिकित्सा सहायता कोष का गठन किया जाएगा। इस वर्ष 10 करोड़ रुपये का प्रावधान।

मुख्यमंत्री लोक भवन : योजना के तहत प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में 30 लाख रुपये की लागत से एक सामुदायिक भवन दो वर्षों में पूर्ण किया जाएगा। विधानसभा सदस्य व संसद सदस्य अपनी निधि से और बड़ा करवा सकते हैं। यदि माननीय सदस्य अपने क्षेत्र में एक या दो अतिरिक्त सामुदायिक भवन बनवाना चाहते हैं तो उनकी निधि के 15 लाख रुपये पर सरकार द्वारा भी 15 लाख रुपये दिए जाएंगे। योजना के लिए 12 करोड़ रुपये का बजट प्रावधान है।

प्राकृतिक खेती-खुशहाल किसान : प्रदेश सरकार ने किसानों की आय दोगुनी करने के उद्देश्य से अनेक योजनाएं शुरू की हैं। इसी कड़ी में कृषकों को आवश्यक प्रशिक्षण तथा जरूरी उपकरण उपलब्ध करवाए जाएंगे। इसके लिए वर्ष 2018.19 में 25 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।

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