शिमला: सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री डा. (कर्नल) धनी राम शांडिल ने कहा कि प्रदेश सरकार ने अक्षम व्यक्तियों के उत्थान के लिए अनेक पग उठाए हैं। वह आज यहां ‘व्यक्ति जिनमें अक्षमताएं हैं (समान अवसर, अधिकारों का संरक्षण एवं पूर्ण भागीदारी) अधिनियम, 1995 के अन्तर्गत गठित राज्य स्तरीय समन्वय समिति की बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने वर्तमान वित्त वर्ष के दौरान शारीरिक रूप से अक्षम व मानसिक रूप से विकलांग व्यक्तियों के कल्याण के लिए आरम्भ की गई योजनाओं का प्रभावी कार्यान्वयन सुनिश्चित बनाने के लिए चालू वित्त वर्ष के दौरान 5 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है। उन्होंने कहा कि मानसिक रूप से अक्षम 50 व्यक्तियों के लिए आवासीय संस्थान सृजित किए गए हैं जबकि सुन्दरनगर में अक्षमों के लिये विशेष आईटीआई में छात्रावास का निर्माण किया गया जिसमें 50 अक्षम विद्यार्थियों को रहने की सुविधा है और इन पर 4.50 करोड़ रुपये व्यय किए गए हैं।
डा. शांडिल ने कहा कि राज्य सरकार ने व्यक्ति जिनमें अक्षमताएं हैं, की अपंगता की जल्द पहचान करने तथा उन्हें आवश्यक सहायता एवं उपकरण तथा समुचित व्यावसायिक प्रशिक्षण उपलब्ध करवाने के लिए अनेक पग उठाए हैं, ताकि वे सही प्रकार से अपना जीवनयापन कर सकें। उन्होंने कहा कि सरकार की विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं का लाभ प्राप्त करने के उद्देश्य से पात्र व्यक्तियों को अक्षमता पहचान पत्र प्रदान किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि पात्र अक्षम व्यक्तियों को अक्षमता राहत भत्ता तथा शिक्षा ग्रहण करने वाले विद्यार्थियों को छात्रवृतियां प्रदान की जा रही हैं। उन्होंने कहा कि राज्य के सभी औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों में अक्षम विद्यार्थियों के लिए तीन प्रतिशत विशेष सीटें आरक्षित की गई हैं।