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हिमाचल में महंगी हुई बिजली, नई दरें पहली अप्रैल 2016 से होंगी लागू

 हिमाचल में महंगी हुई बिजली, नई दरें पहली अप्रैल 2016 से होंगी लागू

हिमाचल में महंगी हुई बिजली, नई दरें पहली अप्रैल 2016 से होंगी लागू

शिमला: हिमाचल में दो साल बाद घरेलू बिजली आखिर महंगी हो गई। 19.5 लाख घरेलू उपभोक्ताओं के मासिक बिजली बिल में 3.5 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है। हर स्लैब में 20 पैसे प्रति यूनिट बढ़े हैं। 0 से 60 यूनिट तक दाम नहीं बढ़ाए गए हैं।

बुधवार को राज्य विद्युत नियामक आयोग ने बिजली दरें बढ़ाने की अधिसूचना जारी कर दी है। दरें बढ़ने से घरेलू उपभोक्ताओं के मासिक बिजली बिल में कम से कम 20 रुपये का इजाफा होगा। नई दरें पहली अप्रैल 2016 से लागू होंगी। जिन उपभोक्ताओं ने अप्रैल का बिल भुगतान कर दिया हैए उन्हें मई में बकाया जोड़कर बिल दिया जाएगा। दरें बढ़ाने से बिजली बोर्ड को सालाना 155 करोड़ का लाभ होगा।

  • ये होंगी नई बिजली दरें
  • प्रति माह रुपये प्रति यूनिट रुपये प्रति यूनिट रुपये /प्रति यूनिट
  • यूनिट 2015-16 2016-17 2016-17
  • 0-60 2.85 2.85 1.00 (कोई वृद्धि नहीं)
  • 0-125 3.50 3.70 1.50 (20 पैसे की वृद्धि)
  • 126-300 4.40 4.60 2.90 (20 पैसे की वृद्धि)
  • 300 से ऊपर 4.95 5.10 4.35 (15 पैसे की वृद्धि)
  • प्री पेड कंज्यूमर 4.40 4.60 2.90 (20 पैसे की वृद्धि)

10 से 30 रुपये बढ़ा सर्विस चार्ज

घरेलू बिजली उपभोक्ताओं से प्रति माह वसूले जाने वाले कंज्यूमर सर्विस चार्जिस भी दस रुपये बढ़ाए गए हैं। 0 से 125 यूनिट स्लैब में बिजली बोर्ड प्रतिमाह 40 रुपये सर्विस चार्ज वसूलता है। इसमें अब 10 रुपये और बढ़ा दिए हैं। छोटे उद्योगों और वाटर पंपिंग कंज्यूमर पर 20 रुपयेए नॉन डोमेस्टिक और नॉन कामर्शियलए कामर्शियल और स्ट्रीट लाइट कंज्यूमर से 30 रुपये सर्विस चार्ज वसूला जाएगा।

  • डिमांड चार्जिस में 10 से 75 रुपये इजाफा

डिमांड चार्जिस में भी 10 से 75 रुपये बढ़े हैं। बिजली मीटर की प्रति किलोवाट क्षमता बढ़ाने के लिए यह चार्जिस हर माह वसूले जाते हैं। सिंचाई एवं वाटर पंपिंग कंज्यूमर के लिए यह चार्जिस 10 रुपयेए नॉन डोमेस्टिक और नॉन कामर्शियलए कामर्शियल सप्लाईए मध्यम उद्योग के लिए 20 रुपयेए एचटी लाइन से जुड़े बड़े उद्योगों के लिए 50 रुपये और ईएचटी लाइन से जुड़े बड़े उद्योगों के लिए यह चार्ज 75 रुपये बढ़ाए गए हैं।

  • बोर्ड ने 33 फीसदी बढ़ोतरी का भेजा था प्रस्तावए उद्योगों को राहत

बिजली बोर्ड ने राज्य विद्युत नियामक आयोग को बिजली दरें 33 फीसदी बढ़ाने का प्रस्ताव भेजा था। प्रस्ताव के माध्यम से बोर्ड के 4966 करोड़ के खर्च और 4811 करोड़ की आय की जानकारी दी थी।

आयोग ने आय और खर्च के अंतर को पूरा करते हुए बोर्ड को प्रति वर्ष 155 करोड़ रुपये की बिजली दरों से अतिरिक्त राजस्व वसूली का फैसला लिया है।

  • उद्योगों को राहत

प्रदेश के करीब तीस हजार उद्योगों के बिजली बिल में कोई बढ़ोतरी नहीं की गई है। औद्योगिक इकाइयों के कारोबार में आई स्थिरता के चलते इन ग्राहकों को इस साल राहत दी गई है।

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