लघु सिंचाई योजना के अनुमोदन हेतु बैठक आयोजित

लघु सिंचाई योजना के अनुमोदन हेतु बैठक आयोजित

शिमला : आज बचत भवन में प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के अंतर्गत आगामी वित वर्ष के लिए जिला में लघु सिंचाई योजना के अनुमोदन हेतु बैठक आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता जिला परिषद अध्यक्षा धर्मिला हरनोट ने की। धर्मिला हरनोट ने बताया कि इस योजना का मूल उद्देश्य सुरक्षात्मक सिंचाई गतिविधियों को और अधिक बढ़ावा देना है, ताकि फसल की पैदावार को और बढ़ाया जाए। इस योजना के माध्यम से ग्रामीण क्षेत्रों में खुशहाली और आर्थिकी को भी बढ़ावा होगा।

उन्होंने बताया कि इस योजना के माध्यम से पानी का संरक्षण करने की तकनीक, पानी का सदुपयोग, कृषि योग्य भूमि में सिंचाई का और विस्तार करने और कृषि संबंधी गतिविधियों को बढ़ावा देना है। इस योजना के तहत हर खेत को पानी, पानी की हर बूंद से ज्यादा फसल की ओर, जलागम विकास आदि गतिविधियों का विस्तार करने की योजना है। हरनोट ने बताया कि बैठक में जिला परिषद सदस्यों द्वारा प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के अंतर्गत आरम्भ की जाने वाली सिंचाई योजनाओं का अनुमोदन किया गया।

अतिरिक्त जिला दंडाधिकारी डी.के. रतन ने प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के बारे में विस्तृत जानकारी देते हुए बताया कि इससे जिला में कृषि उत्पादन में बढ़ोतरी होगी, इससे जल संचन और जल सिंचन सुनिश्चित होगा और ग्राउंड वाटर टेबल में भी बढ़ोतरी होगी। सदस्य सचिव प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना जिला शिमला एवं उपनिदेशक कृषि डा. आर. एस. ठाकुर, उपनिदेशक, पशुपालन विभाग डा.आर.के. शर्मा, परियोजना निदेशक जलागम विकास राजेश धीमान ने अपने विभाग द्वारा पशुपालकों, किसानों व बेरोजगार युवाओं के लिए प्रदान की जा रही विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं की विस्तृत जानकारी दी। वन विभाग के अधिकारी ने कहा कि जिला परिषद सदस्य द्वारा अपने क्षेत्र के लिए सिंचाई योजना का चयन करते समय फॉरेस्ट क्लीयरैंस के मापदंड को ध्यान में रखा जाना चाहिए। बैठक में अतिरिक्त जिला दंडाधिकारी डी. के. रतन, जिला परिषद उपाध्यक्ष सुरेंन्द्र रेक्टा, जिला परिषद सदस्य, जिला पंचायत अधिकारी श्री बी.आर. वर्मा तथा अन्य विभागों के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

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